प्रवधान है कि किसी महिला को रोकने और पकड़ने का कार्य केवल महिला महिला पुलिसकर्मी ही कर सकती हैं, कोई पुरुष पुलिसकर्मी नहीं, लेकिन उत्तर प्रदेश पुलिस ने सभी हदें पार कर दी. यूपी पुलिस के पुरुष अधिकारी ने न केवल प्रियंका गांधी को रोका बल्कि बेहद अशोभनीय तरीके से उनके कपड़े भी पकड़कर खींचे.
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रायपुर: कांग्रेस की राज्यसभा सांसद छाया वर्मा और फूलोदेवी नेताम ने नेशनल कमिशन फॉर विमेन (NCW) की चेयरपर्सन रेखा शर्मा को एक शिकायत पत्र लिखा है. इस पत्र में हाथरस पुलिस द्वारा प्रियंका गांधी के साथ किए जानें का आरोप लगाकर दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने और कठोर कार्रवाई की मांग की गई है.
दोनों सांसदों ने पत्र में लिखा है कि 3 अक्टूबर को दिल्ली से हाथरस जाते हुए राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा को उत्तर प्रदेश पुलिस ने रास्ते में रोका. इस दौरान जो भी हुआ उसने शिकायत करने को बाध्य कर दिया है. भारत के संविधान में महिलाओं के लिए विशेष कानून हैं, उसमें यह प्रवधान किया गया है कि किसी महिला को रोकने और पकड़ने का कार्य केवल महिला महिला पुलिसकर्मी ही कर सकती हैं, कोई पुरुष पुलिसकर्मी नहीं, लेकिन उत्तर प्रदेश पुलिस ने सभी हदें पार कर दी.
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'महिलाओं में आक्रोश है'
छाया वर्मा और फूलोदेवी नेताम ने एनसीडब्ल्यू चेयरपर्सन को लिखे पत्र में कहा, ''यूपी पुलिस के पुरुष अधिकारी ने न केवल प्रियंका गांधी को रोका बल्कि बेहद अशोभनीय तरीके से उनके कपड़े भी पकड़कर खींचे. उत्तर प्रदेश पुलिस के इस दुर्व्यवहार पर पूरे देश की महिलाओं में जबरदस्त आक्रोश है. हर राज्य में, हर जिले में, कस्बे में गांव में विरोध प्रदर्शन हो रहा है. महिलाओं की सुरक्षा और सम्मान को लेकर देश का हर पिता माता और भाई चिंतित है.''
'पुलिस के खिलाफ हो कार्रवाई'
कांग्रेस की दोनों राज्यसभा सांसदों ने राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा से मांग की है कि वह राहुल और प्रियंका के साथ यूपी पुलिस के दुर्व्यवहार प्रकरण को संज्ञान में लेकर जिम्मेदार अधिकारी और सभी आला अधिकारियों के खिलाफ मामला दर्ज कर कठोर कार्रवाई की जाए, जिससे भविष्य में ऐसी घटना दोबारा न हो सके.
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