महोबा: इंद्रकांत त्रिपाठी मौत मामले में बड़ा खुलासा, क्रशर कारोबारी ने ही खुद को मारी थी गोली
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महोबा: इंद्रकांत त्रिपाठी मौत मामले में बड़ा खुलासा, क्रशर कारोबारी ने ही खुद को मारी थी गोली

कारोबारी ने इंद्रकांत त्रिपाठी ने एक वीडियो संदेश सोशल मीडिया पर जारी किया था, जिसमें उन्होंने महोबा के तत्कालीन एसपी मणिलाल पाटीदार पर 5 लाख रुपए महीने रिश्वत मांगने का आरोप लगाया था. 

महोबा के दिवंगत क्रशर कारोबारी इंद्रकांत त्रिपाठी. (File Photo)

महोबा: महोबा के क्रशर कारोबारी इंद्रकांत त्रिपाठी की मौत के मामले में एसआईटी ने सनसनीखेज खुलासा किया है. एडीजी जोन प्रयागराज प्रेम प्रकाश ने महोबा में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर एसआईटी की जांच में जो तथ्य सामने आए हैं उसके बारे में जानकारी दी. एडीजी ने बताया कि एसआईटी जांच के मुताबिक इंद्रकांत त्रिपाठी को किसी बाहरी व्यक्ति ने नहीं बल्कि उन्होंने अपनी लाइसेंसी पिस्टल से कार के अंदर खुद को गोली मार ली थी. एडीजी जोन प्रयागराज प्रेम प्रकाश ने यह भी बताया कि इंद्रकांत पुलिस की कार्यप्रणाली से परेशान चल रहे थे और काफी तनाव में थे. 

इंद्रकांत ने आईपीएस मणिलाल पाटीदार पर लगाए थे गंभीर आरोप
एडीजी ने बताया कि तत्कालीन महोबा एसपी मणिलाल पाटीदार कोरोना संक्रमण से प्रभावित हैं, उनसे अभी बातचीत नही हो पाई है. आपको बता दें कि महोबा में बीते  8 सितंबर को कारोबारी इंद्रकांत त्रिपाठी झांसी-मिर्जापुर हाइवे पर अपनी ही कार में गोली लगने से घायल हालात में मिले थे.

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उन्हें कानपुर के रीजेंसी अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां इलाज के दौरान 11 सितंबर को उनकी मौत हो गई थी. इस घटना से एक दिन पहले कारोबारी ने एक वीडियो संदेश सोशल मीडिया पर जारी किया था, जिसमें उन्होंने महोबा के तत्कालीन एसपी मणिलाल पाटीदार पर 5 लाख रुपए महीने रिश्वत मांगने का आरोप लगाया था. 

मुख्यमंत्री योगी ने की थी आईपीएस मणिलाल पाटीदार पर कार्रवाई
क्रशर कारोबारी इंद्रकांत त्रिपाठी वीडियो में कह रहे थे कि उनके द्वारा रिश्वत देने में असमर्थता जताने पर आईपीएस मणिलाल पाटीदार ने उन्हें जान से मरवाने व फर्जी मुकदमे में फंसाने धमकी भी दी थी. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कारोबारी के इस वायरल वीडियो का संज्ञान लेते हुए तत्कालीन एसपी महोबा मणिलाल को निलंबित कर दिया था. साथ ही आईपीएस, कबरई थाना प्रभारी देवेंद्र शुक्ला सहित 4 लोगों के खिलाफ हत्या की साजिश, हत्या का प्रयास व भ्रष्टाचार का मुकदमा दर्ज किया गया था.

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मुख्यमंत्री के आदेश पर मामले की जांच के लिए बनी थी एसआईटी
इंद्रकांत त्रिपाठी की मौत की जांच के लिए मुख्यमंत्री योगी के आदेश पर वाराणसी के आईजी विजय सिंह मीणा के नेतृत्व में 3 सदस्यीय एसआईटी का गठन किया गया था. एसआईटी की जांच पूरी होने के बाद शुक्रवार देर रात एडीजी जोन प्रयागराज प्रेम प्रकाश ने महोबा पहुंचकर मामले का खुलासा किया. उन्होंने बताया कि मामला हत्या का नहीं लग रहा है. मृतक इंद्रकात पुलिस की कार्यप्रणाली से परेशान थे जिसके चलते वह तनाव में रहते थे. गोली कार के अंदर से ही चली थी, बाकी जांच अभी जारी रहेगी.

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