उन्होंने अपनी कुछ तस्वीरें ट्विटर पर पोस्ट करते हुए कुछ ऐसा कहा है, जो उनके 2022 के चुनावी एजेंडे की तस्दीक कर रहा है.
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उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे हैं. ये बात इसलिए भी याद आने लगी है, क्योंकि सियासतदान अब सड़कों पर उतर रहे हैं. उपचुनाव में समाजवादी पार्टी को हार का मुंह देखना पड़ा तो पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव एक्शन में आ गए हैं. 2022 में विधानसभा चुनाव को लेकर वो अपनी हर चाल चल रहे हैं. हाल ही जब अखिलेश यादव आगरा पहुंचे तो उन्हें मुगल म्यूजियम का भी मुद्दा याद आ गया. उन्होंने अपनी कुछ तस्वीरें ट्विटर पर पोस्ट करते हुए कुछ ऐसा कहा है, जो उनके 2022 के चुनावी एजेंडे की तस्दीक कर रहा है.
योगी आदित्यनाथ ने बदला था मुगल संग्रहालय का नाम
पिछले सितंबर में योगी सरकार ने आगरा में सपा सरकार के समय शुरू किए गए मुगल संग्रहालय का नाम बदलकर छत्रपति शाहूजी महाराज कर दिया था. जिसके एक साल बाद अब सपा अध्यक्ष जब आगरा पहुंचे तो उन्होंने सीएम योगी के इस कदम के बदले में सोशल इंजीनियरिंग का फॉर्मूला समझा दिया है.
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अखिलेश ने बनाएंगे साझी विरासत
अखिलेश यादव ने ट्विटर पर अपनी कुछ तस्वीरें इसी म्यूजियम में चहलकदमी करते हुए पोस्टकी हैं. उन्होंने ऐलान किया कि 'आगरा में सपा के समय शुरू हुआ मुगल म्यूजियम सपा सरकार आने पर राष्ट्रीय एकता एवं बहुधर्मी साझी विरासत के नाम से जाना जाएगा. सोशल मीडिया पर वायरल हो रही तस्वीरों में अखिलेश यादव निर्माणाधीन संग्रहालय में दिखाई दे रहे हैं.
आगरा में सपा के समय शुरू हुआ मुग़ल म्यूज़ियम सपा सरकार आने पर राष्ट्रीय एकता एवं बहुधर्मी साझी विरासत के नाम से जाना जाएगा. आने वाले समय में सपा इसमें महाराज अग्रसेन, राजमाता जीजाबाई, छत्रपति शिवाजी महाराज व शहीद भगत सिंह जी की प्रतिमा ससम्मान लगवाएगी.#बाइस_में_बाइसिकल pic.twitter.com/EtpgOyljim
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) December 12, 2020
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छत्रपति शिवाजी की भी लगेगी प्रतिमा
अखिलेश यादव ने ऐलान किया है कि आने वाले समय में सपा इसमें महाराज अग्रसेन, राजमाता जीजाबाई, छत्रपति शिवाजी महाराज व शहीद भगत सिंह जी की प्रतिमा भी ससम्मान लगवाएगी. अखिलेश यादव के इस कदम को 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले सोशल इंजीनियरिंग के स्टेप के तौर पर देखा जा रहा है.
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