उत्तराखंड में सामन्य से 6 गुना बारिश और बर्फबारी ने तोड़ा 40 साल का रिकार्ड
Advertisement
trendingNow0/india/up-uttarakhand/uputtarakhand622384

उत्तराखंड में सामन्य से 6 गुना बारिश और बर्फबारी ने तोड़ा 40 साल का रिकार्ड

इस बार बारिश और बर्फबारी ने शुरूआती 10 दिनों में ही पिछले 40 साल के रिकार्ड तोड़ दिया है. अब तक राजधानी देहरादून सहित पूरे उत्तराखंड में सामान्य से 6 गुना बारिश और बर्फबारी हो चुकी है.

पहाड़ों में सामान्य से 6 गुना दर्ज हो चुकी बारिश और बर्फबारी

देहरादून: उत्तराखंड के पहाड़ों में इस साल सर्दियों का सीजन लंबा चलने वाला है और गर्मियां देर से आने वाली हैं. इसका कारण उत्तराखंड में नये साल के शुरू में ही पहाड़ों में सामान्य से 6 गुना दर्ज हो चुकी बारिश और बर्फबारी है. इस बर्फबारी के कारण पहाड़ों में ठण्ड ज्यादा समय तक रहेगी. इस ठंडक का अहसास आसपास के मैदानी क्षेत्रों में महसूस हो किया जाएगा. 

मौसम ने तोड़े पिछले 40 साल के रिकार्ड
मौसम विभाग के मुताबिक सर्दियों का सीजन नये साल से शुरू होता है. इस साल की शुरूआत में ही मौसम ने अपना रंग बदलना शुरू कर दिया. इस बार बारिश और बर्फबारी ने शुरूआती 10 दिनों में ही पिछले 40 साल के रिकार्ड तोड़ दिया है. अब तक राजधानी देहरादून सहित पूरे उत्तराखंड में सामान्य से 6 गुना बारिश और बर्फबारी हो चुकी है. ऊंचे पहाड़ों पर तो बर्फ गिरी ही है साथ ही निचले पहाड़ों में बसे लोगों को भी इस बार बर्फबारी देखने को मिली. जिन इलाकों में बर्फ गिरने की उम्मीद लोग छोड़ चुके थे वंहा भी बर्फबारी ने लोगों के चेहरे खिला दिये. पिछले कुछ साल से सर्दियों में बारिश और बर्फबारी में कमी दर्ज की जा रही थी. आने वाले दिनों में भी उत्तराखंड में एक बार फिर से मौसम में बदलाव होना है. इसके बाद इस आंकड़े में और भी ज्यादा बदलाव देखने को मिल सकता है.

मानसून के बाद और सर्दियों में मिली जबरदस्त बर्फबारी

मौसम विभाग के निदेशक डॅा विक्रम सिंह चौहान के मुताबिक हमारा मानसून के बाद का सीजन भी बेहतर गया. मौसम विभाग अक्टूबर से दिसंबर तक के समय को पोस्ट मानसून कहता है. इस दौरान हमनें सामान्य से 50 फीसदी बारिश और बर्फ रिकार्ड की है. आम तौर पर अक्टूबर से दिसंबर तक के महीनों में उत्तराखंड में 60 मिलीमीटर बारिश रिकार्ड की जाती है लेकिन अस बार ये बढ़कर 90 मिलीमीटर दर्ज की गई.  डॅा चौहान कहते हैं कि जनवरी और फरवरी को जाड़े का सीजन कहा जाता है, इस दौरान भी अब तक 60 मिलीमीटर बारिश रिकार्ड की जो कि सामान्य तौर पर 8 से 10 मिलीमीटर होनी चाहिए, यानी हमें 6 गुना बारिश और बर्फ मिल चुकी है. बारिश और बर्फ मिलने पर आने वाले दिनों में इन आकंड़ों में और बदलाव होंगें.

होगा फसलों और बागवानी को फायदा
इस जबरदस्त बारिश के कारण मैदानी इलाकों में गेंहू की फसल को फायदा मिलेगा जबकि पहाड़ों में सेब और सर्दियों में होने वाली दूसरी फसलों और फलों को सीधा फायदा मिलेगा. सेब की फसल के लिए ये तापमान बहुत उपयोगी माना जाता है.

कई सड़कें बंद, जल्द खुलेंगें मार्ग
उत्तराखंड में बर्फबारी से पहाड़ों की कई सड़कें यातायात के लिए बंद हो गई हैं. राज्य के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत कहते हैं कि ये बर्फ हमेशा रहने वाली नहीं है. पहाड़ों में इस बर्फ का तात्कालिक फायदा तो है ही, साथ में अगले 3-4 साल तक पानी के स्रोत भी इससे रिचार्ज हो जायेंगें. कई जगह बर्फ हटाने के लिए लगातार काम चल रहा है, जल्दी ही हालात सामान्य हो जायेंगें. अभी उत्तरकाशी, रूद्रप्रयाग, देहरादून के उंचाई वाले इलाकों और पिथौरागढ़ जिलों में कई जगह सड़कें बंद हैं. 

Trending news