पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की पुण्यतिथि पर पढ़ें उनके अनमोल विचार, इन प्रेरणादायक कोट्स से मिलेगी जीवन को नई दिशा
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पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की पुण्यतिथि पर पढ़ें उनके अनमोल विचार, इन प्रेरणादायक कोट्स से मिलेगी जीवन को नई दिशा

Pranab Mukherjee Death Anniversary 2024: आज 31 अगस्त को भारत के पूर्व राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी की पुण्यतिथि है. प्रणब मुखर्जी के लिए कहा जाता है कि वे एक ऐसे नेता थे जिनके सभी पार्टियों में अच्छे संबंध थे. यहां हम उनके प्रेरणादायक कोट्स के बारे में बताने जा रहे हैं.

Pranab Mukherjee Death Anniversary 2024

Pranab Mukherjee Death Anniversary 2024: देश के पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की आज पुण्यतिथि है. प्रणब मुखर्जी का निधन 31 अगस्‍त के दिन साल 2020 को हो गया था. प्रणब मुखर्जी भारत के प्रमुख और प्रभावशाली राजनीतिक नेताओं में से एक थे. साल 1969 में वे पहली बार वे राज्यसभा के सदस्य बने. यहां देखें प्रणब मुखर्जी के प्रेरणादायक कोट्स

1-सब कुछ जानते समझते हुए भी मैं अपनी निष्ठा के साथ कार्य कर रहा हूं. मेरी निष्ठा ही मुझे एक पार्टी से बांधे हुए है.
प्रणब मुखर्जी

2-संगठन में शक्ति है , एक संगठित समाज ही राष्ट्र को परिवर्तन के मार्ग पर ली जा सकती है.
प्रणब मुखर्जी

3-राष्ट्र के लिए केवल राजनीतिक पार्टियां ही कार्य नहीं करती बल्कि कितनी ही सामाजिक संगठन नींव का कार्य कर रही हैं.ऐसे संगठन ही राष्ट्र की उन्नति में अहम योगदान निभाते हैं
प्रणब मुखर्जी

4-किसी भी प्रकार के दबाव में रहकर मैं कार्य नहीं कर सकता. मैं आजाद सोच वाला हूं और आजाद रहकर ही कार्य करना चाहता हूं
प्रणब मुखर्जी

5-वास्तव में देश की अर्थव्यवस्था का स्तर कुछ अलग होना चाहिए था , दागदार छवि और अकुशल नेतृत्व ने मार्ग में बाधा उत्पन्न ने किया
प्रणब मुखर्जी

6-राष्ट्रहित में कार्य करने के लिए पार्टी की विचारधारा से ऊपर उठना पड़ेगा. फिर राष्ट्र पूरे विश्व में एक मिसाल पेश करेगा, लोग फिर आपको सम्मान देंगे और आप का अनुकरण करेंगे
प्रणब मुखर्जी

7- आधुनिक राष्ट्र के निर्माण में
प्रत्येक नागरिक का सहयोग अपेक्षित है
एक सशक्त लोकतंत्र तभी
मजबूत हो सकता है
जब लोगों के इरादा मजबूत हो
प्रणब मुखर्जी

प्रणब मुखर्जी का जन्म पश्चिम बंगाल के एक छोटे से गांव मिराटी में 11 दिसंबर 1935 को हुआ था. उन्होंने इतिहास और राजनीति विज्ञान में मास्टर डिग्री ली थी. उन्होंने कानून की पढ़ाई भी की थी. पहले वे एक शिक्षक के तौर पर कॉलेज में पढ़ाते थे और बाद में उन्होंने पत्रकारिता में भी हाथ आजमाए थे.

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