Ankita Case: ऋषिता रिजॉर्ट के फ्रंट ऑफिस में काम करती थीं और विवेक हाउसकीपिंग डिपार्टमेंट में था....कपल ने एक महीने के भीतर कथित गलत कामों को देखने के बाद उस जगह को छोड़ने का फैसला किया..
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मेरठ: पुलकित आर्य शुरू में सभी से बहुत अच्छे ढंग से पेश आता था. धीरे-धीरे उसका असली रूप दिखने लगता था. जो भी कर्मचारी रिजॉर्ट छोड़ने की बात करता, उसकी नजर में वो अपराधी बन जाता था. ऐसा ही एक किस्सा शादीशुदा जोड़े का सामने आया है जो करीब 2 महीना पहले रिजॉर्ट से भागने में कामयाब रहे. ऋषिकेश के कुख्यात वंतारा रिसॉर्ट में काम करने वाला उत्तर प्रदेश के रहने वाले पति-पत्नी'संदिग्ध' गतिविधियां देखने के बाद वहां से भागने में कामयाब रहा था. फिलहाल दंपत्ति उत्तराखंड पुलिस के सामने पेश होने के लिए ऋषिकेश आ गए हैं.
सीएम धामी ने की मुआवजे की घोषणा
अंकिता भंडारी मर्डर केस में उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी ने मुआवजे की घोषणा कर दी है. अंकिता के परिजनों को 25 लाख रुपये के मुआवजे का ऐलान किया है. ये जानकारी मुख्यमंत्री कार्यालय ने दी है.
रिजॉर्ट में करते थे नौकरी
ऋषिता रिजॉर्ट के फ्रंट ऑफिस में काम करती थीं और विवेक हाउसकीपिंग डिपार्टमेंट में था. कपल ने एक महीने के भीतर कथित गलत कामों को देखने के बाद उस जगह को छोड़ने का फैसला किया था. कपल के मुताबिक उन्हें सोशल मीडिया पर एक पोस्ट के जरिए नौकरी मिली थी. पति-पत्नी ने मीडिया से बातचीत के दौरान बताया कि अंकिता भंडारी मामले का मुख्य आरोपी पुलकित आर्य गाली-गलौज करता था.
लड़कियों और ड्रग्स के साथ मेहमानों का मनोरंजन करता था-विवेक
विवेक ने कहा, वह लड़कियों और ड्रग्स के साथ मेहमानों का मनोरंजन करता था. हमने शामिल होने के एक महीने के भीतर छोड़ने का फैसला किया. हालांकि,जब हम मेरठ वापस घर आ गए तो हमें दो अन्य आरोपियों, अंकित गुप्ता और सौरभ भास्कर के फोन आने लगे. वे हमें फोन करते रहे. एक सप्ताह से अधिक के लिए हमें वापस लौटने का आग्रह किया. उन्होंने वादा किया कि सब कुछ ठीक हो जाएगा और हमें बेहतर माहौल का आश्वासन दिया.
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अवैध गतिविधियां जारी रखीं-ऋषिता
ऋषिता ने बताया कि हम वापस चले गए, लेकिन उन्होंने अपनी अवैध गतिविधियां जारी रखीं. उन्होंने हमें हमारा वेतन देने से भी इनकार कर दिया और मुझे एक बार पीटा. मैंने स्थानीय पुलिस से संपर्क किया, जिन्होंने कोई मदद नहीं की. इसके बाद हमने हरिद्वार पुलिस से संपर्क करने की कोशिश की लेकिन मदद नहीं मिली. पुलिस हमें बताती रही कि ये इलाका उनके अधिकार क्षेत्र में नहीं आता है, हमें स्थानीय पटवारी से संपर्क करना चाहिए. हालांकि, पटवारी पुलकित और अन्य लोगों के साथ हाथ मिलाकर हमारे उत्पीड़न में शामिल हो गया. उसने आगे आरोप लगाते हुए कहा कि फर्जी चोरी के मामले में दोनों को माफी पत्र पर हस्ताक्षर करने के लिए मजबूर किया जाने के बाद उसे उसके पति के साथ 'बंधक' बना लिया. ऋषिता ने कहा कि हमसे बोला गया कि अगर हमने जाने के बारे में सोचा भी तो पत्र का इस्तेमाल हमारे खिलाफ किया जाएगा.
दंपत्ति का बयान दर्ज करेगी एसआईटी
दंपति ने कहा कि वे एक अन्य कर्मचारी के साथ दीवार फांदकर तड़के तीन बजे रिजॉर्ट से निकले और एक बस में चढ़ने तक काफी दूर चले गए. मैरिड कपल ऋषिता और विवेक भारद्वाज 10 किमी चलकर बस पकड़कर मेरठ स्थित अपने घर लौट आए. उत्तराखंड पुलिस ने मंगलवार शाम एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा, कि मामले की जांच चल रही है. चार सदस्यीय एसआईटी मामले में दंपति का बयान दर्ज करेगी.
नहर से बरामद किया था शव
बता दें कि अंकिता का शव 24 सितंबर को चिल्ली नहर से बरामद किया गया था. अंकिता भंडारी की कथित रूप से रिजॉर्ट संचालक पुलकित आर्य ने अपने दो कर्मचारियों, प्रबंधक सौरभ भास्कर और सहायक प्रबंधक अंकित गुप्ता के साथ मिलकर ऋषिकेश के पास चीला नहर में धकेलकर हत्या कर दी थी.