सहारनपुर में डिजिटल इंडिया की पहल के तहत अब बस के रुट की जियोग्राफिक इन्फॉर्मेशन सिस्टम के तहत मैपिंग की जा रही है. इससे मुसाफिरों को बस कब कहां किस रुट से गुजरेगी उसकी रियल टाइम जानकारी मिल सकेगी.
Trending Photos
नीना जैन/सहारनपुर: डिजिटल इंडिया की कवायद से जल्द ही आपको परिवहन निगम और विभाग के रूटों की जानकारी घर बैठे मिल सकेगी. राज्य सरकार की पहल पर परिवहन निगम और परिवहन विभाग ने अलग-अलग रुट की जीआईसी मैपिंग की है. इस कवायद से मिले डाटा को पोर्टल पर अपलोड करते ही मुसाफिरों को यह सुविधा मिलनी शुरू हो जाएगी. इस पूरी कवायद के लिए बकायदा प्रदेश की राजधानी लखनऊ में संबंधित अधिकारियों को ट्रेनिंग दी गई है.
इकोनॉमिक जोन को जोड़ने की कवायद
इस पूरी कवायद का उद्देश्य अलग-अलग इकोनॉमिक जोन को मल्टी मॉडल कनेक्टिविटी इंफ्रास्ट्रक्चर से जोड़ना है. इससे पीएम गति नेशनल मास्टर प्लान को भी गति मिलेगी. ख़ास बात यह है कि इस प्लान के ग्राउंड जीरो पर सफल बनाने के लिए एक स्टेट लेवल पर को-ऑर्डिनेशन कमेटी का भी गठन हो चुका है.
22 मार्गों की हुई मैपिंग
संभागीय परिवहन विभाग ने सहारनपुर में 14 और परिवहन निगम ने आठ मार्गों की मैपिंग कर ली है. इससे संबंधित रूट पर कौन से कस्बा और गांव पड़ रहे हैं. जाहिर है कि इसकी जानकारी इंटिग्रेटड कंट्रोल रूम को होगी तो वह संबंधित रुट में परिवहन सुविधा को प्रभावी बनाने के लिए अन्य कदम उठा सकेगा. इसके साथ ही परिवहन निगम की यात्री आवागमन, बसों का आवागमन व प्रस्थान की संख्या, बस स्टेशन का प्रकार और बस स्टैंड के क्षेत्रफल की सूचना देनी है.
यह भी पढ़ें:बहराइच में मेढ़क की चाल चलने को क्यों मजबूर हुए होमगार्ड के जवान, वीडियो वायरल
डिजिटल इंडिया की पहल
डिजिटल इंडिया के तहत की जा रही इस पहल के कई फायदे हैं. इससे एक ओर जहां संसाधनों की बचत होगी वहीं मुसाफिरों को भी समय और दूसरी सुविधाएं मिलेंगी. यह कवायद ट्रैफिक जाम से लेकर सड़क हादसों में भी कमी लाने में सहायक होगी. अनिल कुमार क्षेत्रीय प्रबंधक परिवहन विभाग के मुताबिक जीरो फेंसिंग और रुट मैपिंग की जाए. रुट पर वाहनों की आवाजाही कितनी है उसका आकलन कर रिपोर्ट विभाग को भेज दी गई है.
जियोग्राफिक इन्फॉर्मेशन सिस्टम (जीआईसी) भौगोलिक क्षेत्रों के मानचित्र तैयार करने का वह तरीका है जिसमें डाटा एनालसिस की जाती है. यह डाटा उस क्षेत्र की भौगोलिक संरचना के साथ ही आबादी व नेचुरल ट्रेंड को अहमियत देता है. यह विधि योजनाओं के निर्माण, क्रियान्वयन व संसाधनों के बेहतर प्रबंधन में मददगार होती है.
VIDEO:'कोका कोला बोलबम' गाने पर भाभी ने किया बेहतरीन डांस, एक्सप्रेशन की कायल हुई दुनिया