पटनाः बिहार में महागठबंधन में सीट शेयरिंग की घोषणा कर दी गई है. लेकिन महागठबंधन में अभी भी फूट देखने को मिल रहा है. सीट शेयरिंग में आरजेडी ने सीपीआई (भाकपा) को तरजीह नहीं दी है. लेकिन सीपीआई (माले) को साथ लेकर चलने की कोशिश की गई. हालांकि महागठबंधन के सीट शेयरिंग फॉर्मूले से सीपीआई (माले) भी खुश नहीं दिख रहा है और अलग चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है.


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सीपीआई (माले) को आरजेडी ने अपनी 20 सीटों में से एक सीट देने की घोषणा की थी. आरजेडी ने कहा था कि वह अपने खाते से एक सीट सीपीआई (माले) को देगी. वहीं, सीपीआई को आरजेडी ने किसी तरह की तरजीह नहीं दी. सीपीआई ने बेगूसराय सीट से कन्हैय कुमार को उम्मीदवार घोषित कर दिया है और महागठबंधन से बेगूसराय सीट की मांग की थी. लेकिन आरजेडी बेगूसराय में अपने उम्मीदवार को उतारना चाहती है.


महागठबंधन के सीट शेयरिंग फॉर्मूले से नाराज सीपीआई(माले) ने शनिवार को प्रेसवार्ता कर कहा कि महागठबंधन में लेफ्ट के दलों को अलग रखकर बीजेपी के खिलाफ ध्रुवीकरण कमजोर हो गया है. माले पार्टी के राज्य सचिव कुणाल ने कहा उनकी पार्टी 5 सीटों पर अलग चुनाव लड़ेंगी.


उन्होंने साफ तौर पर कहा कि बेगूसराय में सीपीआई उम्मीदवार उतारेगी और उजियारपुर में सीपीएम अपने उम्मीदवार उतारेगी जिसे हमलोग समर्थन देंगे. इसके अलावा पार्टी आरा, काराकाट, पाटलिपुत्र, सिवान और जहानाबाद सीट पर अपने प्रत्याशियों को उतारेगी.


कुणाल ने यह भी कहा कि उनकी पार्टी आरजेडी को एक सीट पर समर्थन देगी, लेकिन वह कौन सी सीट होगी यह फैसला तब लिया जाएगा जब आरजेडी अपने सीटों की घोषणा कर देगी.


बहरहाल यह साफ हो गया है कि सीपीआई (माले) अब 5 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी. वहीं, कन्हैया कुमार सीपीआई से बेगूसराय सीट के उम्मीदवार होंगे. हालांकि इससे आरजेडी और सीपीआई दोनों को नुकसान हो सकता है.