Don Not Offer Things On Shivling: हिंदू धर्म में भगवान शिव की पूजा का विशेष महत्व है. कहते हैं कि भगवान शिव की पूजा करने से उनके सभी दुख-संकट दूर हो जाते हैं. भगवान शिव को समर्पित महाशिवरात्रि का पर्व इस बार 18 फरवरी को मनाया जाएगा. हिंदू धर्म में महाशिवरात्रि का विशेष महत्व है. इस दिन भगवान शिव और मां पार्वती की पूजा करने से भगवान शिव की कृपा प्राप्त होती है. इस दिन पूरी आस्था के साथ भगवान शिव का व्रत रखा जाता है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

इतना ही नहीं, भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए इस दिन शिवलिंग पर भांग-धतूरा, दूध, चंदन, बेलपत्र आदि चीजों को अर्पित किया जाता है. लेकिन कई बार भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए शिव भक्त जाने-अनजाने कई ऐसी चीजें चढ़ा देते हैं, जिससे भगवान शिव क्रोधित हो जाते हैं. ज्योतिष शास्त्र में कई ऐसी चीजों के बारे में बताया गया है, जिन्हें भगवान शिव की पूजा में इस्तेमाल नहीं करना चाहिए. शिवलिंग पर भूलकर भी इन्हें अर्पित न करें.


शिवलिंग पर अर्पित न करें ये चीजें


हल्दी


ज्योतिष शास्त्र के अनुसार भगवान शिव को भूलकर भी हल्दी अर्पित नहीं करनी चाहिए. शास्त्रों की मानें शिवलिंग पुरुष तत्व का प्रतीक है और हल्दी को स्त्रियों से संबंधित है. ऐसे में शिवलिंग पर भूलकर भी हल्दी अर्पित न करें.


सिंदूर, कुमकुम और रोली


शिवलिंग  पर सिंदूर, कुमकुम और रोली आदि भूलकर भी अर्पित न करें. हिंदू महिलाएं पति की लंबी उम्र के लिए अपनी मांग में भरती हैं. भगवान शिव को संहार का देवता माना जाता है. इसी कारण भगवान शिव को सिंदूर अर्पित न करें. इसके अलावा, भगवान शिव को चंदन का तिलक लगाना शुभ माना जाता है.


शंख का न करें इस्तेमाल


धार्मिक कथा के अनुसार भगवान शिव ने शंखचूड़ नाम के असूर का वध किया था. और उसी असुर का प्रतीक शंख को माना जाता है. इसलिए भगवान शिव और शिवलिंग पर कभी भी शंख का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए.


तुलसी के पत्ते


भगवान शिव जी भूलकर भी तुलसी के पत्ते अर्पित नहीं करने चाहिए. शिवपुराण के अनुसार भगवान शिव ने जालंधर नामक असुर का वध किया था. इस दौरान जालंधर को एक वरदान मिला हुआ था कि उसे अपनी पत्नी की पवित्रता की वजह से कोई परास्त नहीं कर सकता था. लेकिन जालंधर को मारने के लिए भगवान विष्णु को उसकी पत्नी तुलसी की पवित्रता भंग करनी पड़ी थी. इस दौरान पति की मौत  से नाराज तुलसी मे भगवान शिव का बहिष्कार किया. तब से ही भगवान शिव की पूजा में तुलसी का प्रयोग नहीं किया जाता.


केतकी, कनेर और कमल का फूल


ज्योतिष शास्त्र के अनुसार शिवलिंग पर केतकी का फूल भूलकर भी अर्पित नहीं करना चाहिए.  इसके साथ ही कनेर और कमल का फूल अर्पित करने की भी मनाही है. कहते हैं कि शिवलिंग पर लाल रंग के फूल भी अर्पित नहीं करने चाहिए.


 


अपनी फ्री कुंडली पाने के लिए यहां क्लिक करें
 


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)