Surya Shani Yuti 2023 in Hindi: शनि सूर्य देव के पुत्र हैं. हालांकि, दोनों के बीच में वैचारिक मतभेद के कारण कुछ लोग इसे शत्रुवत मानते हैं, किंतु ऐसा नहीं है. हां, मतभेदों के कारण उनमें विपरीतता का स्वभाव है. किसी की कुंडली में सूर्य और शनि की युति उस व्यक्ति को विद्वान और आत्मकेंद्रित बनाती है. ऐसे लोग सुखी, दृढ़ निश्चयी, गुणवान और अवगुणों से रहित तथा वृद्धजनों के सेवक होते हैं. 


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अक्सर देखा गया है कि ऐसे लोगों को जीवन में सच्चे विश्वासपात्र मित्र या रिश्तेदार नहीं मिलते हैं, जिन्हें वह अपना सच्चा हितैषी कह सकें. इन्हें जो लोग भी मिलते हैं, वह अपना काम निकलते ही भूल जाते हैं, इसलिए ईश्वर ही इन लोगों का सच्चा मित्र होता है.


दंड 


शनि सूर्य के प्रकाश रहित क्षेत्र में नियंत्रण रखते हैं. इसका तात्पर्य यह भी है कि व्यक्ति जो गुप्त रूप से कार्य करता है, जिन कार्यों को पर्दे में रहकर करना पड़ता है, उन पर शनि देव नजर रखते हैं और मौका आते ही उनका पर्दा हटा देते हैं. मौका आने का अर्थ यही है कि शनि की दशा में साढ़े साती या ढैय्या में शनि इस पर्दे को हटाकर पाप और पुण्य का प्राकट्य कर देते हैं. 


शनि अपने प्रभाव से व्यक्ति की उचित परीक्षा लेकर सभी कर्मों, उसके द्वारा किए गए प्रयासों का परिणाम पूरी तरह से प्रदान करते हैं. उनकी प्रारंभिक परीक्षा काफी कठिन होती है और परीक्षा की इस कठिनता के कारण ही लोग उन्हें निर्दयी या कठोर मानते हैं. जबकि वास्तविकता ऐसी नहीं है. शनि तो सूर्य देव के आदर्श पुत्र हैं और वह व्यक्ति को आदर्शवान बनाने की इच्छा रखते हैं. जो लोग उनकी इच्छा के अनुरूप कार्य करते हैं, वह सफल रहते हैं और जो विपरीत रहते हैं या शनि की इच्छा के विरुद्ध कार्य करते हैं, उनके लिए कुछ भी कहना ठीक नहीं, क्योंकि न्याय के देव शनि उन्हें दंड देने में कोई रियायत भी नहीं करते हैं.


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