Science News in Hindi: ब्रिटेन में प्रारंभिक कांस्य युग की हड्डियों की स्टडी से चौंकाने वाली बात पता चली है. चार्टरहाउस वारेन साइट से निकाले गए इन अवशेषों में नजदीक से तेज हमले, अंग काटे जाने और नरभक्षण के सबूत मिलते हैं. यह सब कुछ इन व्यक्तियों के शवों को 15 मीटर (49 फुट) की खाई में फेंकने से पहले किया गया था. Antiquity जर्नल में छपी स्टडी के रिर्सर्चर्स ने कहा, 'हिंसा के उस स्तर और पैमाने का सबूत है जो ब्रिटिश के इतिहास में अभूतपूर्व है. यह खोज इस बारे में कई सवाल खड़े करती है कि वास्तव में यहां क्या हुआ था.


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ब्रिटेन में ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के आर्कियोलॉजिस्ट रिक शुल्टिंग ने कहा, 'वास्तव में हमें ब्रिटेन में प्रारंभिक कांस्य युग की तुलना में नवपाषाण कालके कंकालों पर चोटों के अधिक सबूत मिले हैं, इसलिए चार्टरहाउस वॉरेन कुछ बहुत ही असामान्य बात है. यह उस काल की काफी हद तक अंधकारमय तस्वीर पेश करता है.'


37 कंकालों की 3000 से ज्यादा हड्डियों पर स्टडी


रिसर्च टीम ने कुल 3,000 से ज्यादा हड्डी के टुकड़ों की पड़ताल की, जो कम से कम 37 व्यक्तियों के कंकाल का हिस्सा थे. यह माना जाता है कि ये सभी हड्डियां एक ही घटना की हैं जो 2210 से 2010 ईसा पूर्व में घटी. रिसर्चर्स को खोपड़ियों में दरारें और छेद दिखने के साथ-साथ, मौत के समय किए गए कट और टूटे हुए निशान भी मिले. इनमें वैसे कट्स भी हैं जिनसे पता चलता है कि हत्यारों ने शरीर के कुछ अंगों को खाया होगा.


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ये वैसे शव नहीं थे जिन्हें सम्मान के साथ मिट्टी में दफनाया गया था. केमिकल एनालिसिस बताता है कि ये सभी स्थानीय लोग थे, बाहर से नहीं आए थे. इस बात के सबूत कम हैं कि ये लोग किसी लड़ाई में शामिल थे, जो इशारा करता है कि शायद ये किसी वीभत्स नरसंहार का शिकार बने होंगे.


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आसपास से भारी मात्रा में मवेशियों की हड्डियां भी मिली हैं, जो बताती हैं कि इन लोगों को भोजन की जरूरत के चलते नहीं मारा गया था. रिसर्चर्स का मानना है कि मृतकों का मांस खाना शायद उन्हें 'अलग' दिखाने के लिए किया गया हो. उस समय ब्रिटेन में किसी तरह की महामारी के सबूत भी नहीं मिलते.


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