Weird Reptiles Liolaemus Tacnae: इस छिपकली ने तोड़े वर्ल्ड रिकॉर्ड, 17,716 फीट की ऊंचाई पर रहने वाली Reptile
दुनिया में सबसे ऊंचाई पर रहने वाली इस छिपकली का नाम है लियोलाइमस टैक्ने (Liolaemus Tacnae lizard ). हर्पेटोजोआ (Herpertozoa) नामक मैगजीन में रिपोर्ट के मुताबिक, लियोलाइमस टैक्ने (Liolaemus Tachnae) पेरू के एंडीज पर्वतों पर 17,716 फीट की ऊंचाई पर पाया गया. इस ऊंचाई पर तापमान में अंतर, तेज अल्ट्रवायलेट किरणें (Ultraviolet Rays) और कम ऑक्सीजन की समस्या बहुत ज्यादा होती है, इसके बावजूद ये छिपकली इतनी ऊंचाई पर रह रही है.
नई दिल्ली: जानवरों की दुनिया भी बेहद आश्चर्यजनक होती हैं. हाल में शोधकर्ताओं ने दुनिया की सबसे ज्यादा ऊंचाई पर रहने वाली छिपकली (Lizard) का पता लगाया है. इस छिपकली को समुद्र तल से 5400 मीटर यानी 17,716.54 फीट की ऊंचाई पर देखा गया. अब से पहले किसी सरीसृप या छिपकली को इस ऊंचाई पर नहीं देखा गया था. इस छिपकली ने ऊंचाई पर मिलने वाली छिपकलियों के अब तक के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. आइए जानते हैं इस छिपकली के बारे में.
लियोलाइमस टैक्ने (Liolaemus Tachnae lizard)
दुनिया में सबसे ऊंचाई पर रहने वाली इस छिपकली का नाम है लियोलाइमस टैक्ने (Liolaemus Tacnae lizard ). इसके बारे में हाल ही में हर्पेटोजोआ (Herpertozoa) नामक मैगजीन में रिपोर्ट भी प्रकाशित हुई है. इस रिपोर्ट के मुताबिक, लियोलाइमस टैक्ने (Liolaemus Tacnae) पेरू के एंडीज पर्वतों पर 17,716 फीट की ऊंचाई पर पाया गया. इस ऊंचाई पर तापमान में अंतर, तेज अल्ट्रवायलेट किरणें और कम ऑक्सीजन की समस्या बहुत ज्यादा होती है, इसके बावजूद ये छिपकली इतनी ऊंचाई पर रह रही है.
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क्या है ट्री-इगुआ
जीव विज्ञानी जोस सेर्डेन (Jose Manuel Cerdan) और उनके सहयोगियों ने साल 2020 में पेरू के चचानी ज्वालामुखी (Chachani, Peru) पर चढ़ाई की. गौरतलब है कि इसकी ऊंचाई समुद्र तल से 6,057 मीटर यानी 19872 फीट है. वहां इनकी टीम लियोलाइमस टैक्ने (Liolaemus Tachnae) छिपकलियों की तलाश कर रही थी. इन छिपकलियों को ट्री-इगुआना के नाम से भी जानते है. इस टीम ने 5,000 मीटर तक चढ़ाई करने के बाद उन्हें खोज भी लिया.
चट्टानों के बीच हिलती दिखी छिपकली
पेरू के अरेक्विपा (Arequipa) में नेशनल यूनिवर्सिटी ऑफ सेंट ऑगस्टिन (National University of Saint Augustine) की शोधकर्ता जोस सेर्डेन (Jose Manuel Cerdan) बताती हैं कि हमनें चट्टानों के बीच कुछ हिलते हुए देखा, पहले हमें लगा कि वो चूहा है. लेकिन जब हमारी टीम ने पास जाकर देखा तो पाया कि ये जानवर छिपकली है. जिसे लियोलाइमस टैक्ने (Liolaemus Tachnae) के रूप में पहचाना जाता है.
ऐसी परिस्थितियों में जीवन जीना मुश्किल
ये प्रजाति पेरू के बेहद ऊंचाई वाले इलाके में जीवित रहने के लिए जानी जाती है. चचानी के पास पहले इसे समुद्र तल से 4,000 मीटर पर देखा गया था. आपको बता दें कि स्तनधारियों के लिए ऐसी परिस्थितियों में जीवन जीना अत्यधिक मुश्किल है. लेकिन आपको जानकार आश्चर्य होगा कि ठंडे खून वाले रेप्टाइल्स यानी सरीसृप या छिपकलियां ऐसी जगहों पर रह लेती हैं.
सरीसृप की सबसे बड़ी विशेषता
लियोलाइमस टैक्ने (Liolaemus Tachnae) जैसी छिपकलियां या सरीसृप की सबसे बड़ी विशेषता है कि ये तापमान की बाधाओं को झेल सकती हैं. लेकिन इसके बावजूद 17,716 फीट की ऊंचाई पर छिपकली के होने का रिकॉर्ड दुर्लभ है. गौरतलब है कि अब तक सबसे अधिक जीवित रेप्टाइल 5,300 मीटर की ऊंचाई पर तिब्बती पठार पर रहने वाली टॉड हैडेड आगामा (Toad Headed Agama) छिपकली है. एनडियन छिपकली (Andean Lizard) पुराने रिकॉर्ड को 100 मीटर की ऊंचाई से तोड़ चुकी है.
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