इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी की डीपफेक पॉर्न वीडियो इंटरनेट पर वायरल हो रही हैं, जिसके बाद उन्होंने केस दर्ज कर 1 लाख डॉलर के मुआवजे की मांग की है. मेलोनी को 2 जुलाई को कोर्ट में पेश होना है. बीबीसी के मुताबिक, मेलोनी ने एक 40 साल के आदमी और उसके 73 साल के पिता पर आरोप लगाया है. बताया जा रहा है कि इन वीडियोज को बनाने के पीछे इन दोनों का हाथ है. रिपोर्ट के मुताबिक, जिस मोबाइल से ये लोग कंटेंट अपलोड करते थे, उसकी मदद से लॉ एन्फोर्समेंट एजेंसियों ने इनको गिरफ्तार कर लिया है. इन पर मानहानि का मुकदमा दर्ज किया गया है.


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मिलियन में आए व्यूज 


कुछ मानहानि मामलों की इतालवी कानून के तहत आपराधिक मामलों की तरह सजा दी जाती है. इन वीडियोज को एक अमेरिकी पॉर्न वेबसाइट पर अपलोड किया गया, जिस पर कुछ महीनों में मिलियन में व्यूज हैं. इन डीपफेक वीडियोज में पॉर्न एक्ट्रेस के फेस पर मेलोनी का चेहरा लगा दिया गया था. 


हिंसा पीड़ित महिलाओं को दी जाएगी राशि


मेलोनी की कानूनी टीम ने सफाई में कहा कि मुआवजे में जो भी रकम मिलेगी, उसे हिंसा की पीड़ित महिलाओं के फंड में दान की जाएगी. मेलोनी की वकील मारिया गिउलिया मारोंगिउ ने कहा कि मुआवजे की मांग इसलिए की गई है ताकि हिंसा की पीड़ित महिलाएं बिना किसी डर के अपनी कानूनी लड़ाई जारी रख सकें. जिस डीपफेक वीडियोज की बात हो रही है, मेलोनी के 2022 में पीएम बनने से पहले के हैं. हाल के कुछ वर्षों में 'डीपफेक' पॉर्न वीडियोज कंटेंट इंटरनेट पर आग की तरह फैले हैं, जिससे पीड़ितों को ना सिर्फ शारीरिक बल्कि मानसिक परेशानियां झेलनी पड़ती हैं.


डीपफेक एक तरीका है, जिसमें आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल कर किसी विजुअल या ऑडियो कंटेंट के साथ छेड़छाड़ की जाती है और यह काफी हद तक सच के करीब लगता है. डीपफेक शब्द साल 2017 में आया था, जब इसी नाम के एक रेडिट यूजर ने एक प्लेटफॉर्म तैयार किया था, जिस पर ओपन सोर्स फेस स्वैपिंग टेक्नोलॉजी के जरिए पॉर्न वीडियोज तैयार किए गए थे.