IPL में आ गया सबसे सख्त नियम, खिलाड़ियों पर सीधे लगेगा 2 साल का बैन

IPL 2025: अगर कोई विदेशी खिलाड़ी आईपीएल की नीलामी में खरीदे जाने के बाद बिना किसी ठोस वजह के खुद को आईपीएल के किसी सीजन के लिए अनुपलब्ध बताता है तो ऐसे खिलाड़ी पर दो साल का प्रतिबंध लगाया जाएगा. इसके इतर छोटी नीलामी में विदेशी खिलाड़ी का प्राइस टैग सबसे ज्यादा रिटेंशन प्राइस (18 करोड़) या बड़ी नीलामी की सबसे बड़ी बोली से अधिक नहीं होगा.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Sep 29, 2024, 01:39 PM IST
  • तो खिलाड़ियों पर होगी कार्रवाई
  • बड़ी नीलामी में पंजीकरण अनिवार्य
IPL में आ गया सबसे सख्त नियम, खिलाड़ियों पर सीधे लगेगा 2 साल का बैन

नई दिल्लीः IPL 2025: अगर कोई विदेशी खिलाड़ी आईपीएल की नीलामी में खरीदे जाने के बाद बिना किसी ठोस वजह के खुद को आईपीएल के किसी सीजन के लिए अनुपलब्ध बताता है तो ऐसे खिलाड़ी पर दो साल का प्रतिबंध लगाया जाएगा. इसके इतर छोटी नीलामी में विदेशी खिलाड़ी का प्राइस टैग सबसे ज्यादा रिटेंशन प्राइस (18 करोड़) या बड़ी नीलामी की सबसे बड़ी बोली से अधिक नहीं होगा.

जैसा कि अगस्त में ईएसपीएनक्रिकइंफो ने अपनी रिपोर्ट में बताया था कि आईपीएल की सभी फ्रेंचाइजी ने जुलाई में आईपीएल गवर्निंग काउंसिल के समक्ष यह मांग रखी थी कि नीलामी में खरीदे जाने के बाद खुद को अनुपलब्ध करने वाले खिलाड़ियों पर कार्रवाई की जानी चाहिए.

तो खिलाड़ियों पर होगी कार्रवाई

रिटेंशन नियमों को साझा करते हुए आईपीएल ने कहा, 'कोई भी खिलाड़ी जो नीलामी के लिए खुद को पंजीकृत करता है और नीलामी में खरीदे जाने के बाद वह सीजन की शुरुआत से पहले खुद को अनुपलब्ध बता देता है तब उसे अगले दो सीजन के लिए आईपीएल खेलने या नीलामी में हिस्सा लेने से रोक दिया जाएगा.'

हालांकि अगर खिलाड़ी चिकित्सीय या चोट के कारणों से अनुपलब्ध रहता है तो ऐसी स्थिति में कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी लेकिन इस संबंध में खिलाड़ी के होम बोर्ड से भी पुष्टि की जाएगी.

बड़ी नीलामी में पंजीकरण अनिवार्य

आईपीएल ने फ्रेंचाइजी के इस प्रस्ताव को भी स्वीकारा है कि विदेशी खिलाड़ियों का बड़ी नीलामी में पंजीकरण अनिवार्य होगा. फ्रेंचाइजी ने यह तर्क दिया था कि इससे खिलाड़ी सिर्फ बड़ी धनराशि पाने की लालच से छोटी नीलामी में हिस्सा नहीं ले पाएंगे. छोटी नीलामी में टीमें अमूमन कुछ खास खिलाड़ियों पर बड़ा दांव खेलती हैं.

इसकी एक बानगी 2024 की नीलामी में भी देखने को मिली थी जब कोलकाता नाइट राइडर्स और सनराइजर्स हैदराबाद ने क्रमशः मिचेल स्टार्क और पैट कमिंस के लिए बड़ी बोली लगाई थी. कमिंस को 20.50 करोड़ जबकि स्टार्क को 24.75 करोड़ रुपये में ख़रीदा गया था.

सिर्फ चोट के मामले में मिलेगी छूट

इस स्थिति को दोहराने से रोकने के लिया आईपीएल ने दो तरह की रणनीति अपनाई है. पहला तो यह कि अगर किसी विदेशी खिलाड़ी ने बड़ी नीलामी में खुद को पंजीकृत नहीं किया है तब उसे छोटी नीलामी में हिस्सा नहीं लेने दिया जाएगा. इस मामले में सिर्फ चोट या मेडिकल कंडीशन में ही छूट दी जाएगी.

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