नई दिल्लीः मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू भारतीय सैनिकों को लेकर दिए अपने बयानों की वजह से अपने ही देश में घिरते जा रहे हैं. मालदीव के पूर्व विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद ने मालदीव में हजारों की संख्या में भारतीय सैनिकों की तैनाती को लेकर मुइज्जू के किए दावों को गलत बताया है. साथ ही इसे मुइज्जू के झूठे दावों की एक अहम कड़ी बताई है.
'भारतीय सैनिकों को लेकर मुइज्जू के दावे झूठे'
अब्दुल्ला शाहिद ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, '100 दिन बाद यह साफ दिख रहा है कि राष्ट्रपति मुइज्जू की ओर से किया गया दावा कि मालदीव में भारत के हजारों सैनिकों की तैनाती है यह बिल्कुल झूठ है. मुइज्जू का यह दावा उनके झूठे दावों की संख्या का एक और बड़ा झूठ है. क्योंकि देश में कोई भी हथियारबंद सैनिक तैनात नहीं हैं. पारदर्शिता बहुत अहम है और सच्चाई सभी के सामने आनी चाहिए.'
मालदीव में मौजूद हैं 70 भारतीय सैनिक
बता दें कि मालदीव में करीब-करीब 70 भारतीय सैनिकों, एक डॉर्नियर, 228 मेरीटाइम पेट्रोल एयरक्राफ्ट और दो एचएएल ध्रुव हेलीकॉप्टर मौजूद हैं. मालदीव में राष्ट्रपति के चुनाव से पहले ही मुइज्जू ने ऐलान कर दिया था कि अगर देश में उनकी पार्टी की सरकार बनती है, तो उनकी प्राथमिकता मालदीव से भारत को बाहर करना होगा. राष्ट्रपति का चुनाव जीतने के साथ ही मुइज्जू ने भारतीय सैनिकों की वापसी का एलान कर दिया था.
10 मार्च तक भारत आ सकता है एक एयरक्राफ्ट
हालांकि, दोनों देशों के बीच इस मुद्दे पर अभी बातचीत चल रही है. कई रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है कि इस मुद्दे पर दोनों देशों के बीच कई हद तक सहमति बन भी गई है और भारत 10 मार्च 2024 तक अपने सैनिकों और एक एयरक्राफ्ट को वापस बुला सकता है. वहीं, दो अन्य एयरक्राफ्ट 10 मई 2024 तक मालदीव से भारत लौट सकते हैं.
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