नई दिल्ली: Israel Hamas War: इजरायल और हमास के बीच जारी जंग ने गाजा में जीनजवन क्षतिग्रस्त कर दिया है. युद्ध के बाद अब कंपकपांती सर्दी ने तंबू में रह रहे बच्चे और लोगों के जीवन को संकट में डाल दिया है. गाजा में कंपकंपाती ठंड के बीच तंबू में रह रही 21 दिन की बच्ची की मौत हो गई है.
ठंड से 21 साल की सिला की मौत
गाजा में ठंड के कारण तंबुओं में रह रहे बच्चों की मौत का यब अबतक का तीसरा मामला है. बता दें कि 21 दिन की बच्ची सिला खान यूनिस शहर के बाहर मुवासी क्षेत्र में अपने पिता के साथ एक तंबू में रहती थी. मंगलवार 24 दिसंबर 2024 की रात यहां तापमान 9 डिग्री सेल्सियस था. सिला के पिता के मुताबिक तंबू के अंदर ठंडी जमीन और सर्दी हवाओं के कारण वह रात में 3 बार रो रोकर उठी. वहीं सुबह उन्होंने देखा कि सिला बेहोश पड़ी थी और उसका पूरा शरीर अकड़ चुका था. सिला को अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे बचाने की कोशिश तो की लेकिन फेंफड़े जमने के कारण उसकी मौत हो गई.
मौत को नजदीक से देख रहे बच्चे
इजरायल और हमास के बीच जारी युद्ध में अबतक काफी जिंदगियां तबाह हो चुकी हैं. हाल ही में हुए कुछ अध्ययनों के मुताबिक युद्ध का असर बच्चों के मनोविज्ञान पर काफी पड़ा है. सामने आए नतीजों के मुताबिक गाजा के बच्चों को उनकी मौत नजदीक लगती है. 96 प्रतिशत बच्चों को लगता है कि उनकी मौत जल्दी हो जाएगी. वहीं 49 प्रतिशत को लगता है कि उन्हें खुद ही मर जाना चाहिए.
बमबारी और ठंड ने गाजा को किया तबाह
बता दें कि इजरायल की ओर से गाजा में की गई बमबारी से अबतक 45,000 से ज्यादा फलस्तीनी मारे जा चुके हैं. इनमें अधिकतर बच्चे और महिलाएं हैं. हालात इतने खराब है कि यहां की 23 लाख आबादी को बार-बार विस्थापित होना पड़ता है. ठंड के बीच तंबुओं में रह रहे लोगों का जीवन और भी कठिन हो चुका है. वहीं मदद करने वाली कई संस्थाओं को भी यहां के लोगों को आवश्यक वस्तुं पहुंचाने में संघर्ष करना पड़ रहा है.
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