ED Vs CBI: करप्शन के खिलाफ मुल्क में मुसलसल कार्यवाही अंजाम दी जा रही है. रियासत कोई भी हो ED CBI के छापों में भर भर के कैश सामने आ रहा है. फिर चाहे बात बंगाल में अर्पिता मुखर्जी की हो या फिर महाराष्ट्र के किसी ठिकाने की.ED और CBI के छापे मौजूदा दौर में भी जारी है ED की सालाना रिपोर्ट के मुताबिक, अप्रैल 2014 से मार्च 2022 के बीच 3,555 केस दर्ज किए और 99 हजार 355 करोड़ रुपए की प्रॉपर्टी जब्त की, और इसी तरह की एक लंबी फेहरिस्त CBI के पास भी है. दरअसल ईडी कार्यवाही के बाद ये रक्म ज़ब्त कर लेती है लेकिन इसे खर्च करने का हक़ उसके पास नही होता. जिसके ठिकाने से ये कैश ज़ब्त किया जाता है अगर वो शख्स इसका हिसाब दे देता है तो उसे ये रक्म लौटा दी जाती है. या फिर अगर उसे कोर्ट से बरी किया जाता है तो भी उसे पैसे लौटाए जाते हैं लेकिन अगर कोई इंसान ऐसा करने में कामयाब नही होता तो फिर ये रक्म गलत तरीके से कमाए गए पैसे या कहे की ब्लैक मनी के दायरे में जमा करा दी जाती है. जो सरकारी खज़ाने में चला जाता है....... बाकि जानकारी के लिए देखें पूरी वीडियो