Sita Soren Resign From JMM: सीता ने कहा कि मेरे स्वर्गीय पति दुर्गा सोरेन झारखंड आंदोलन के अग्रणी योद्धा और महान क्रांतिकारी थे. उनके निधन के बाद से ही मैं और मेरा परिवार लगातार उपेक्षा का शिकार रहे हैं. पार्टी और परिवार के सदस्यों द्वारा हमें अलग-थलग किया गया है.
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Sita Soren Resign From JMM: लोकसभा चुनाव से पहले झारखंड में शिबू सोरेन परिवार में बड़ी फूट सामने आ रही है. शिबू सोरेन की बड़ी बहू और हेमंत सोरेन की भाभी सीता सोरेन ने JMM से इस्तीफा दे दिया है. सीता सोरेन झारखंड की जामा सीट से विधायक हैं. सीता काफी दिनों से अपने देवर यानी पूर्व सीएम हेमंत सोरेन से नाराज चल रही थीं. हेमंत की गिरफ्तारी के वक्त भी पार्टी की लाइनअप से अलग विचार थे. हेमंत की पत्नी कल्पना सोरेन के सीएम बनने में उन्होंने ही अड़चन पैदा की थी. उनकी नाराजगी को देखते हुए चंपई सोरेन को मुख्यमंत्री बनाया गया था. पार्टी छोड़ते वक्त सीता की नाराजगी साफ दिखाई दी. उन्होंने कहा कि मेरे और मेरे परिवार के खिलाफ गहरी साजिश रची जा रही है. उन्होंने कहा कि मैं झारखंड मुक्ति मोर्चा की केंद्रीय महासचिव और सक्रिय सदस्य हूं. वर्तमान में पार्टी की विधायक हूं. अत्यंत दुखी हृदय के साथ अपना इस्तीफा दे रही हूं.
सीता ने कहा कि मेरे स्वर्गीय पति दुर्गा सोरेन झारखंड आंदोलन के अग्रणी योद्धा और महान क्रांतिकारी थे. उनके निधन के बाद से ही मैं और मेरा परिवार लगातार उपेक्षा का शिकार रहे हैं. पार्टी और परिवार के सदस्यों द्वारा हमें अलग-थलग किया गया है, जो मेरे लिए अत्यंत पीड़ादायक रहा है. उन्होंने आगे कहा कि मैंने उम्मीद की थी कि समय के साथ स्थितियां सुधरेंगी, लेकिन दुर्भाग्यवश ऐसा नहीं हुआ. सीता के मुताबिक, परिवार में अब शिबू सोरेन के फैसलों का भी सम्मान नहीं किया जाता है. उन्होंने कहा कि गुरुजी बाबा (शिबू सोरेन) ने हम सभी को एकजुट रखने के लिए कठिन परिश्रम किया. अफसोस कि उनके अथक प्रयासों के बावजूद विफल रहे.
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सीता सोरेन के बागी होने से चंपई सरकार के हाथ-पांव फूल गए हैं. मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर कांग्रेस विधायक पहले ही अपनी नाराजगी का इजहार कर चुके हैं. नाराज विधायक पार्टी आलाकमान से मिलने के लिए दिल्ली तक पहुंच गए थे. हालांकि, उनसे गांधी परिवार को मिलने की जरूरत नहीं पड़ी थी. पार्टी के अन्य सीनियर नेताओं ने बात संभाल ली थी. वहीं अब अगर पार्टी के कुछ अन्य विधायकों ने सीता सोरेन का समर्थन करते हुए बगावत कर दी तो चंपई सरकार फंस सकती है. चर्चा तो ये भी है कि सीता सोरेन अब बीजेपी का दामन थाम सकती हैं.