बिहार में ब्रॉवो फॉर्मा ने लगाए ऑक्सीजन प्लांट, आधुनिक मेडिकल सुविधाओं से है लैश
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बिहार में ब्रॉवो फॉर्मा ने लगाए ऑक्सीजन प्लांट, आधुनिक मेडिकल सुविधाओं से है लैश

खास बात यह है कि कंपनी का प्रोडक्ट पूरी तरह से यूरोएशिया का है और ये आधुनिक सुविधाओं से लैस है. यानि यह Medical High Standard Quality के मानकों को पूरी तरह से खरा उतरता है.

 ब्रॉवो फॉर्मा ने बिहार के 2 अनुमंडल अस्पतालों में ऑक्सीजन प्लांट की स्थापना की.

Patna: कोविड की पहली और दूसरी लहर से बिहार समेत समूचा देश बुरी तरह प्रभावित है. इस चुनौती से निपटने के लिए केंद्र और राज्य मिलकर काम कर रही हैं. बावजूद इसके इस दौरान कुछ राहत भरी तो कई अप्रिय घटनाओं की तस्वीर सामने आई. वहीं, इस दौरान वैश्विक आपदा से निपटने में सरकार के साथ निजी संस्थानों, उद्योगपतियों और कई कारोबरी भी लगे रहे.

  1. कंपनी का प्रोडक्ट पूरी तरह से यूरोएशिया का है और ये आधुनिक सुविधाओं से लैस है.
  2. बिहार के 2 अनुमंडल अस्पतालों में कंपनी ने ऑक्सीजन प्लांट की स्थापना की है.
  3. कंपनी का दावा है कि जल्द अन्य 8 ऑक्सीजन प्लांट स्थापित किए जाएंगे.

ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट की स्थापना की
इसी क्रम में ब्रावो फार्मा (Bravo Pharma) कंपनी का नाम भी शामिल है, जिसने कोरोना वायरस की दूसरी लहर के बाद सरकार के आदेश पर ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट (Oxygen Generation Plant) स्थापित करने का काम किया. कंपनी ने कोविड-19 (COVID-19) की दूसरी लहर के बाद सरकार द्वारा आवंटित 2 अनुमंडल अस्पताल बिहार के बाढ़ और कटिहार के बरसोई में ऑक्सीजन प्लांट (Oxygen Plant) की स्थापना किया. 

ऑटोमैटिक और उच्च गुणवता से लैस है प्लांट
खास बात यह है कि कंपनी का प्रोडक्ट पूरी तरह से यूरोएशिया का है और ये आधुनिक सुविधाओं से लैस है. यानि यह Medical High Standard Quality के मानकों को पूरी तरह से खरा उतरता है. कंपनी का दावा है कि उनका प्लांट पूरी तरह से ऑटोमैटिक और उच्च गुणवता से लैस है.

अंतिम चरण में 8 ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट का काम
कंपनी का संचालन राकेश पांडेय करते हैं, जो इसके प्रबंधन निदेशक हैं. उन्होंने बताया कि सरकार से उन्हें 10 ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट को सब-डिविजनल हॉस्पिटल में स्थापित करने का कॉट्रैक्ट मिला था, जिसमें से उन्होंने 2 को स्थापित कर दिया है और अन्य 8 यूनिट का कार्य जल्द ही पूरा हो जाएगा.
 
ऑक्सीजन की किल्लत से जूझे संक्रमण पीड़ित
दरअसल, कोविड की दूसरी लहर के दौरान ऑक्सीजन की भारी किल्लत बिहार समेत पूरे देश में देखी गई. सरकारी और निजी अस्पतालों में बेड और ऑक्सीजन की कमी के कारण कई कोविड पीड़ितों को अपनी जान गंवानी पड़ी तो कई लंबे समय तक इससे जूझते रहे. हालांकि, सरकार इस कमी को कम करने के लिए लगातार प्रयासरत रही, बावजूद इसके कईंयों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा.

ऑक्सीजन बैंक की हुई स्थापना
इसके अलावा कंपनी ने ऑक्सीजन बैंक की स्थापना निशुल्क रूप से पूर्वी चंपारण के लोगों के लिए किया था. सदर अस्पताल मोतिहारी और लखीसराय में ऑक्सि फ्लोमीटर का भी सहयोग सीएसआर में किया गया. राकेश पांडेय ने कहा, 'कोरोना की दूसरी लहर के दौरान स्थिति भयावह थी उसको देखते हुए कंपनी ने सरकार की तैयारी को मजबूती प्रदान करने के लिए और समय की बचत के लिए विमान के जरिए यूरोप से दिल्ली तक ऑक्सीजन प्लांट मंगाया और फिर सड़क के रास्ते आवंटित अनुमंडल अस्पताल तक आपूर्ति की. उन्होंने बताया कि ब्रावो फार्मा ऐसी पहली कंपनी है जिसने बिहार में समय पर ऑक्सीजन प्लांट के वितरण, स्थापना, कमीशनिंग और परीक्षण अनुमंडल अस्पताल में किया है.

जानकारी के अनुसार, ऑक्सीजन प्लांट स्थापित करने में बिहार मेडिकल सर्विसेज एंड इंफ्रास्ट्रक्चर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (BMSICL) एवं BIADA की भी अहम भूमिका रही है. BIADA के द्वारा ही करोना के तैयारी हेतु कंपनी को कार्य का आदेश प्राप्त हुआ है लेकिन BMSICL से अपेक्षित सहयोग मिले तो इस काम को और गति दी जा सकती है जो की भविष्य की संभावित करोना की तीसरी लहर से लड़ने के लिए तैयारी को और मजबूत बनाएगी.

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