ललन सिंह ने कहा कि बिहार में जंगलराज नहीं, बल्कि मंगलराज है. अमित शाह को संदेह है तो आम आदमी की तरह राज्य में रात में यात्रा करें. किसी ने उन्हें यात्रा करने से रोका-टोका तो समझ जाएंगे कि कानून व्यवस्था की हालत खराब है.
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पटना : अमित शाह के जुमलेबाजी देखी है वो 2015 में कह रहे थे कि 9:30 बजे नीतीश कुमार इस्तीफा देंगे और बीजेपी के साथ सरकार बनाएंगे. सीबीआई और ईडी से हम क्यों डरेंगे, लेकिन दुरुपयोग पर हम बोलेंगे. महाराष्ट्र, दिल्ली और झारखंड में अस्थिता है. आप नैतिकता की नई परिभाषा बना रहे हैं. अमित शाह पुराने घोषित जुमलेबाज है. भाजपा ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पीठ में छूरा भोंका है. 2020 के विधानसभा चुनाव में भाजपा के कई नेता एक क्षेत्रीय पार्टी के उम्मीदवार बन कर चुनाव लड़ रहे थे. बीजेपी के कार्यकर्ता जदयू उम्मीदवारों के खिलाफ काम कर रहे थे. उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह द्वारा उन्हें नया नेता कहने पर टिप्पणी की-हम तो 1974 के जेपी आंदोलन के समय से नेता हैं. शाह अपने बारे में बताएं कि वे कब से नेता हैं. ये बाते जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह ऊर्फ ललन सिंह ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहीं.
बिहार में है मंगल राज
बता दें कि ललन सिंह ने कहा कि बिहार में जंगलराज नहीं, बल्कि मंगलराज है. अमित शाह को संदेह है तो आम आदमी की तरह राज्य में रात में यात्रा करें. किसी ने उन्हें यात्रा करने से रोका-टोका तो समझ जाएंगे कि कानून व्यवस्था की हालत खराब है. उन्होंने कहा कि पूर्णिया की रैली को लेकर बहुत दिनों से प्रचार हो रहा था. हमलोगों को उम्मीद थी कि अमित शाह कुछ खास बोलेंगे, लेकिन यहां तो खोदा पहाड़ और निकली चुहिया वाला मामला हो गया. अमित शाह को जिस मुद्दे को लेकर बात करनी चाहिए उसे छोड़कर शाह सब बात कर रहे हैं. उन्होंने यह नहीं बताया कि हर साल दो करोड़ लोगों को नौकरी देने के वादे का क्या हुआ. नई नौकरियां नहीं मिल रही हैं. लोगों के लिए अवसर समाप्त किए जा रहे हैं. अभी केंद्रीय बलों के तीन हजार पद समाप्त किए गए. उस पर अमित शाह क्यों बात नहीं कर रहे हैं.
जल्द होगा भाजपा मुक्त भारत
ललन सिंह ने कहा कि बिहार परिवर्तन की धरती है और इस धरती के साथ ही भाजपा मुख्त भारत जल्द ही होगा, इसको रोकने वाला कोई नहीं है. अभी अमित ट्रेलर देख रहे हैं. 2024 में पूरी फिल्म देखने को मिलेगी. उन्होंने कहा कि 2017 में भाजपा में दोबारा शामिल होकर जदयू ने भूल की थी. उसे सुधार दिया गया है. बिहार में नीतीश कुमार और लालू प्रसाद सामाजिक न्याय और न्याय के साथ विकास की अवधारणा के स्वाभाविक नेता हैं. उन्होंने कहा कि अमित शाह को यह भी बताना चाहिए कि देश के एक उद्योगपति 2013 में अमीरों की सूची में नौवें स्थान पर थे, अब कैसे दुनिया के अमीरों में दूसरे नंबर पर आ गए हैं.
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