Bihar NEET Exam: कई छात्र और उनके अभिभावक इस फैसले से निराश हैं. उन्हें उम्मीद थी कि कोर्ट काउंसिलिंग प्रक्रिया पर रोक लगाएगा ताकि जब तक इस मामले का समाधान नहीं हो जाता, तब तक आगे की प्रक्रिया रुकी रहे. लेकिन, कोर्ट ने कहा कि काउंसिलिंग पर रोक लगाने से छात्रों का भविष्य प्रभावित हो सकता है, इसलिए फिलहाल इसे जारी रहने दिया जाए.
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NEET UG 2024: सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की गई है जिसमें 5 मई 2024 को हुई NEET UG परीक्षा को रद्द करने और फिर से आयोजित करने की मांग की गई है. इस याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTE) को नोटिस जारी किया है. याचिकाकर्ताओं का कहना है कि परीक्षा की गरिमा प्रभावित हुई है, इसलिए इसे रद्द कर दोबारा आयोजित किया जाना चाहिए.
जानकारी के अनुसार सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में फिलहाल काउंसिलिंग पर रोक लगाने से मना कर दिया है, लेकिन परीक्षा की गरिमा के मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए NTE से जवाब मांगा है. याचिका में बताया गया है कि परीक्षा के दौरान कई जगहों पर गड़बड़ी की खबरें आई थीं. कुछ परीक्षा केंद्रों पर समय से पहले प्रश्नपत्र लीक हो गए थे, तो कुछ जगहों पर अनुचित साधनों का उपयोग किया गया था. इसके चलते ईमानदार छात्रों को नुकसान उठाना पड़ा. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि परीक्षा की गरिमा बेहद महत्वपूर्ण है और इसे बनाए रखना जरूरी है. इसलिए NTE से इस मामले में स्पष्ट और विस्तृत जवाब लेना बनता है. कोर्ट ने यह भी कहा कि इस मामले की अगली सुनवाई 8 जुलाई को होगी. इस दौरान NTE को अपने सभी पक्षों को सामने लाने का मौका मिलेगा.
साथ ही बता दें कि कई छात्र और उनके अभिभावक इस फैसले से निराश हैं. उन्हें उम्मीद थी कि कोर्ट काउंसिलिंग प्रक्रिया पर रोक लगाएगा ताकि जब तक इस मामले का समाधान नहीं हो जाता, तब तक आगे की प्रक्रिया रुकी रहे. लेकिन, कोर्ट ने कहा कि काउंसिलिंग पर रोक लगाने से छात्रों का भविष्य प्रभावित हो सकता है, इसलिए फिलहाल इसे जारी रहने दिया जाए. NTE ने इस मामले में अपनी ओर से कहा है कि वे सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का पालन करेंगे और परीक्षा की गरिमा को बनाए रखने के लिए हर संभव कदम उठाएंगे. उन्होंने यह भी कहा कि अगर किसी प्रकार की गड़बड़ी पाई जाती है, तो दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
इस घटनाक्रम से यह साफ है कि NEET UG जैसी महत्वपूर्ण परीक्षा में किसी भी प्रकार की अनियमितता को गंभीरता से लिया जाना चाहिए. छात्र और उनके अभिभावक इस मामले में न्याय की उम्मीद लगाए बैठे हैं और उम्मीद कर रहे हैं कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला उनके पक्ष में होगा. अब सबकी नजरें 8 जुलाई की अगली सुनवाई पर टिकी हुई हैं, जहां NTE अपना पक्ष रखेगी और कोर्ट इस मामले में अंतिम निर्णय लेगा.
इनपुट- प्रिंस सूरज
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