Advertisement
photoDetails1mpcg

Heart Touching Story: मुंहबोली बेटी से मिलना था पर किराया नहीं था..ट्राईसाईकिल 170KM के सफर पर निकली दिव्यांग मां; देखें तस्वीरें

Ashoknagar Heart Touching Story: अशोकनगर से एक बुजुर्ग दिव्यांग मां की तस्वीर सामने आई है जो बड़ी मार्मिक (Mothers Love ) है. जिसमें वो अपनी बेटी से मिलने जाने के लिए ट्राईसाईकिल (Tricycle) चला रही है. आइए जानते हैं पूरी कहानी क्या है.

1/8

'मां के दिल से बढ़कर दुनिया में कोई दिल नहीं' यह लाइन एकदम सटीक बैठती है एक दिव्यांग बुजुर्ग मां लिबिया बाई पर जिन्होंने अपनी मुंहबोली बेटी से मिलने के लिए 170 किलोमीटर ट्राईसाईकिल चलाई. अब उनकी तस्वीर और वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रही हैं. नीचे जीनिए क्या है इनकी पूरी कहानी...

2/8

बुजुर्ग मां का कहना है बेटी की याद आ रही थी. लेकिन, बस में किसी ने बैठाया नहीं. क्योंकि उनके पास किराया नहीं था. बेटी से मिलना चाहती थी तो ट्राईसाईकिल से निकल पड़ी.

3/8

बुजुर्ग मां ने बताया अशोक नगर की रहने वाली हैं. पचोर के आगे उदनखेड़ी मैं उनकी मुंह बोली बेठी रहती है. उनसे मिलने जा रही हैं. सफर को 7 दिन से अधिक समय हो गया है लेकिन, सफर जारी है.

4/8

अशोकनगर की रहने वाली लिबिया बाई अपनी मुंहबोली बेटी से मिलने के लिए 170 किलोमीटर दूर ट्राई साइकिल से निकल पड़ी. ऐसी हालत में बुजुर्ग मां ट्राई साइकिल चला रही है जिस उम्र में शायद पानी का गिलास ना उठे.

5/8

जहां भी ऊंची घाटी आती है. वहां साईकिल से उतर कर बुजुर्ग मां हाथों से टायर को खींचते हुए साइकिल को आगे बढ़ाती है. इनकी ये तस्वीरें पचोर ब्यावरा के बीच हाईवे पर कैमरे में कैद हुई हैं.

6/8

आज के दौर में जहां देखा जाता है पैरेंट्स को अपने ही बच्चों और बच्चों को अपने माता पिता से मिलने के लिए वक्त नहीं होता. ऐसे में आशोकनगर की रहने वाली बुजुर्ग दिव्यांग मां लिबिया बाई प्रेरणा हैं जिन्होंने अपनी मुह बोली बेटी से मिलने के लिए ट्राईसाईकिल के लंबा सफर किया.

7/8

लिबिया बाई का इस उम्र और इन हालातों में मुंहबोली बेटी के लिए ये प्रेम सोशल मीडिया पर छाया हुआ है. लोग उनकी फोटो और वीडियो जमकर पोस्ट और शेयर कर रहे हैं.

8/8

इन तस्वीरों से एक सवाल ये भी खड़ा होता है कि क्या गरीब मां को बेटी से मिलना के लुए कोई क्या 170 किलोमीटर का नहीं करा पा रहा है. खैर अब वायरल होने के बाद उम्मीद है कि उन्हें जल्द ही कोई उनकी बेटी के पास पहुंचा देगा.