Gadar2: बॉक्स ऑफिस पर सनी देओल और अमीषा पटेल स्टारर मूवी गदर 2 जमकर धमाल मचा रही है. इस बीच महाकाल की नगरी उज्जैन में सनी पाजी के जबरा फैन की अनोखी कहानी देखने को मिली है.
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Gadar2 Movie: देशभर में गदर मचा रही फिल्म 'गदर-2' से जुड़ा एक अनोखा मामला मध्य प्रदेश की उज्जैन नगरी से सामने आया है. सनी पाजी के फैंस देश के कोने-कोने से मूवी देखने के लिए पहुंचे रहे हैं, लेकिन उज्जैन की घटिया तहसील में ऐसा नजारा देखने को मिला जिसके बारे में सुनकर आप बी हैरान रह जाएंगे. यहां एक बेटे ने अपनी पिता की गदर-2 फिल्म देखने की आखिरी इच्छा पूरा करनी के लिए पूरे गांव के लिए फुल थिएटर बुक कर दिया.
जबरा फैन थे पिता
घटिया तहसील के बकानिया गांव के रहने वाले लक्ष्मीनारायण जाट सनी देओल के जबरा फैन थे. उन पर सनी देओल की ऐसी दीवानगी छाई हुई थी कि उन्होंने सनी पाजी की गदर फर्स्ट के तारा सिंह किरदार से प्रेरित होकर न सिर्फ अपने फोटोग्राफ्स बनवाएं और बल्कि उन्हें सनी देओल के साथ लगवाया भी था. गांव के लोग लक्ष्मीनारायण को गदर के नाम से ही पुकारते थे.
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गदर 2 देखना थी आखिरी ख्वाहिश
गदर-2 मूवी के बारे में पता चलता ही लक्ष्मीनारायण को इस फिल्म का बेसब्री से इंतजार था. वे इंतजार कर रहे थे कब सिनेमाघर में मूवी आएगी और वे कब मूवी देखेंगे. लेकिन फिल्म रिलीज होने से पहले ही उनका निधन हो गया. ऐसे में लक्ष्मीनारायण के बेटे धर्मेंद्र ने अपने पिता के सपने को पूरा करने की ठानी औरउनक स्मृति में पूरे गांव को गदर-2 फिल्म दिखाई. उन्होंने सांवेर के एक थिएटर को बुक किया.
नाचते-गाते पहुंचे ग्रामीण
लक्ष्मीनारायण के बेटे द्वारा सभी ग्रामीणों के लिए थिएटर बुक करने वाली बात सुनकर ग्रामीणों की खुशी का ठिकाना नहीं रहा और पूरा गांव DJ पर नाचते-गाते हुए सनी देओल की गदर-2 फिल्म देखने पहुंचे. गांव के सभी लोग ट्रैक्टर में बेठकर यह फिल्म देखने पहुंचे.
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अनोखा किस्सा
धर्मेंद्र ने बताया कि उनके पिता लक्ष्मीनारायण ने साल 2001 में सनी देओल की फिल्म गदर देखी थी. उन्हें वो फिल्म बहुत पसंद आई थी और तभी से उनके पिता सनी देओल के बड़े फैन बन गए थे. इसके बाद वे रोजाना गदर फिल्म देखने जाते थे. वह किसी न किसी को साथ भी ले जाते थे. इसके बाद भी उनका फिल्म के प्रति मोह कम नहीं हुआ. उन्होंने एक टीवी और VCR मंगवाकर गांव के मंदिर में लगवा दिया. मंदिर में यह मूवी दिन भर चलती थी और लक्ष्मीनारायण के साथ ग्रामीण मूवी देखते थे. उनके पिता का गदर फिल्म के लिए ऐसा लगाव देखकर गांव वालों ने उनका नाम ही गदर सेठ रख दिया था.