पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी (Pranab Mukherjee) की उम्र अभी 84 साल थी. प्रणब मुखर्जी पिछले 21 दिनों से अस्पताल में भर्ती थे. ब्रेन सर्जरी के बाद से ही उनकी स्थिति गंभीर बनी हुई थी.
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नई दिल्ली: पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी (Pranab Mukherjee) का 31 अगस्त को सोमवार के दिन निधन हो गया. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने पूर्व राष्ट्रपति के निधन पर 7 दिन के राजकीय शोक की घोषणा की. राजकीय शोक के दौरान देशभर में सरकारी भवनों पर तिरंगा आधा झुका हुआ रहेगा और कोई सरकारी कार्यक्रम नहीं होगा.
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने आदेश जारी करके कहा है कि पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के निधन पर पूरे भारत में 31 अगस्त से 6 सितंबर तक सात दिवसीय राजकीय शोक मनाया जाएगा.
बता दें कि पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की उम्र अभी 84 साल थी. वो लंबे समय से सेना के अस्पताल आर्मी रिसर्च एंड रेफरल हॉस्पिटल में भर्ती थे. कुछ दिन पहले उनकी ब्रेन सर्जरी हुई थी. उसके बाद से ही वो कोमा में थे. प्रणब मुखर्जी के निधन की सूचना देते हुए उनके पुत्र अभिजीत मुखर्जी ने कहा कि भारी मन से सूचित करना पड़ रहा है कि डॉक्टरों के अथक प्रयास और लोगों की दुआओं के बावजूद मेरे पिता प्रणब मुखर्जी हमारे बीच नहीं रहे. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने भी उनके निधन पर गहरा शोक जाहिर किया है.
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इससे पहले सोमवार सुबह अस्पताल ने मेडिकल बुलेटिन जारी कर कहा था कि प्रणब मुखर्जी की सोमवार को तबीयत और बिगड़ गई. आर्मी रिसर्च एंड रेफरल हॉस्पिटल ने कहा कि फेफड़ों के संक्रमण के कारण वो सेप्टिक शॉक की स्थिति में चले गए थे. प्रणब मुखर्जी पिछले 21 दिनों से अस्पताल में भर्ती थे. ब्रेन सर्जरी के बाद से ही उनकी स्थिति गंभीर बनी हुई थी.
अस्पताल के अधिकारियों ने कहा, 'कल से प्रणब मुखर्जी की चिकित्सा स्थिति में गिरावट आई थी.' डॉक्टरों ने आगे बताया कि वो फेफड़ों में संक्रमण के कारण सेप्टिक शॉक में थे.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के निधन पर गहरा शोक प्रकट करते हुए उन्हें सर्वोत्कृष्ट विद्वान और उच्च कोटि का राजनीतिज्ञ बताया. पीएम मोदी ने कहा कि प्रधानमंत्री के रूप में पहले दिन से उन्हें प्रणब मुखर्जी का मार्गदर्शन, समर्थन और आशीर्वाद मिलने का सौभाग्य प्राप्त हुआ.
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