सम्मान: नोबल की रेस में AltNews के फाउंडर मोहम्मद जुबैर, जानें कैसे हुई थी शुरुआत
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सम्मान: नोबल की रेस में AltNews के फाउंडर मोहम्मद जुबैर, जानें कैसे हुई थी शुरुआत

What is Nobel Prize:  इस साल का नोबेल सीजन सोमवार को मेडिसिन अवार्ड के साथ शुरू होगा. इसके बाद दैनिक घोषणा होती हैं: मंगलवार को भौतिकी, बुधवार को रसायन विज्ञान और गुरुवार को साहित्य. 2022 के नोबेल शांति पुरस्कार की घोषणा शुक्रवार को और अर्थशास्त्र पुरस्कार की घोषणा 10 अक्टूबर को की जाएगी. 

अल्फ्रेड नोबेल

What is Nobel Prize:  पिछले साल विश्व भर में कोरोना के कहर की वजह से नोबेल पुरस्कारों(Nobel Prize)  को घोषणा नहीं हो पाई थी, पर इस बार इन पुरस्कारों की घोषणा की शुरुआत हो गई है. इस साल का नोबेल सीजन सोमवार को मेडिसिन अवार्ड के साथ शुरू होगा. मंगलवार को भौतिकी, बुधवार को रसायन विज्ञान और गुरुवार को साहित्य. 2022 के नोबेल शांति पुरस्कार(Peace Award) की घोषणा शुक्रवार को और अर्थशास्त्र पुरस्कार की घोषणा 10 अक्टूबर को की जाएगी. 

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वहीं, भारत की निगाहें भी इन पुरस्कारों पर टिकी हुई है क्योंकि इस बार फैक्ट-चेकर्स मोहम्मद जुबैर(Mohd Zubair) और प्रतीक सिन्हा(Prateek Sinha) इस साल नोबेल शांति पुरस्कार जीतने के दावेदारों में शामिल हैं. यह दावा टाइम की रिपोर्ट में किया गया है.रायटर्स के सर्वेक्षण में जुबैर और प्रतीक के नाम दावेदारों में आगे चल रहे हैं. इसलिए कयास लगाए जा रहे है कि 2019  के बाद भारत एक बार फिर इस पुरस्कार से नवाजा जाएगा. पर भारत की दावेदारी से पहले  पहले आएये यह जान ले कि आखिर यह होते क्या है?

क्या है नोबेल पुरस्कार?

इस पुरस्कार की शुरुआत नोबेल फाउंडेशन ने साल 1901 में की थी. ये पुरस्कार स्वीडन के वैज्ञानिक अल्फ्रेड नोबेल की याद में दिया जाता है. यह उन लोगों को सम्मानित किया जाता है, जिन्होंने पिछले साल के दौरान अपनी खोज के जरिए मानव जाति को  सबसे बड़ा फायदा पहुंचाया हो. ये पुरस्कार शांति, साहित्य, भौतिकी, रसायन, चिकित्सा विज्ञान और अर्थशास्त्र के क्षेत्र में दुनिया का सर्वोच्च पुरस्कार है. यहां हर पुरस्कार विजेता को एक मेडल, एक डिप्लोमा और मोनेटरी अवार्ड दिया जाता है.

किसकी याद में जाता है दिया

अल्फ्रेड नोबेल जिनकी याद में इन पुरस्कारो की शुरूआत की गई है. वह एक वैज्ञानिक थे, जिन्होंने लगभग 355 आविष्कार किए थे. जिसमें डायनामाइट का आविष्कार सबसे फेमस रहा था. दिसंबर 1896 में मृत्यु से पहले उन्होंने अपनी संपत्ति का एक बड़ा हिस्सा एक ट्रस्ट के लिए सुरक्षित रख दिया. संपत्ति के एक बड़े हिस्से को सुरक्षित रखने के पीछे  उनकी इच्छा थी की उस पैसे के ब्याज से हर साल उन लोगों को सम्मानित किया जाए, जिनका काम मानव जाति के लिए सबसे कल्याणकारी साबित हो. इसके लिए ट्रस्ट स्वीडन के बैंक में जमा राशि का प्रयोग करती है जो अल्फ्रेड नोबेल की जमा राशि का ब्याज है. जो नोबेल फाउंडेशन की ओर से हर वर्ष शांति, साहित्य, भौतिकी, रसायन, चिकित्सा विज्ञान और अर्थशास्त्र में सर्वोत्कृष्ट योगदान के लिए पुरस्कार दिया जाता है.

कितनी होती है इनामी राशि?

नोबल प्राइज के रूप में हर विजेता को करीब दस मिलियन स्वीडिश क्रोनोर यानी करीब 9 लाख डॉलर या अगर रुपयों में देखें तो ये करीब 7 करोड़ 33 लाख रुपये होगा. ये पैसा 10 दिसंबर  को विजेता को दिए जाएगे. यह पैसा पुरस्कार के निर्माता, स्वीडिश आविष्कारक अल्फ्रेड नोबेल  के जरिए छोड़ी गई वसीयत से आता है, जिनकी मृत्यु 1895 में हुई थी.

क्या है नोबेल फाउंडेशन?
29 जून, 1900 में नोबेल फाउंडेशन की स्थापना हुई थी. नोबेल फाउंडेशन 5 लोगों की टीम है. इसका मुखिया स्वीडन की किंग ऑफ काउंसिल की ओर से तय किया जाता है. बाकि 4 लोग पुरस्कार वितरक संस्थान के ट्रस्टियों की ओर से तय किए जाते हैं. ये पुरस्कार स्वीडन के राजा विजेताओं को प्रदान करते है.

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उम्मीदवार को कौन नामांकित कर सकता है?
दुनिया भर में हजारों लोग नोबेल पुरस्कार के लिए नामांकन जमा करने के पात्र हैं.इनमें विश्वविद्यालय के प्रोफेसर, कानूनविद, पूर्व नोबेल पुरस्कार विजेता और स्वयं समिति के सदस्य शामिल हैं. हालांकि नामांकन को 50 वर्षों तक गुप्त रखा जाता है, लेकिन जो लोग उन्हें जमा करते हैं वे कभी-कभी सार्वजनिक रूप से अपने सुझावों की घोषणा करते हैं, खासकर नोबेल शांति पुरस्कार के लिए.

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