Lok Sabha Election 2024: उदयपुर सीट पर बीजेपी ने इस बार मन्नालाल रावत तो वहीं कांग्रेस ने ताराचंद मीणा को प्रत्याशी घोषित किया है.
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Rajasthan Lok Sabha Election 2024: राजस्थान में 19 अप्रैल को चुनाव के पहले चरण के तहत वोटिंग की जाएगी. वहीं 26 अप्रैल को राजस्थान में दूसरे चरण के तहत वोटिंग होगी. चुनाव के नतीजे 4 जून को सामने आएंगे. उदयपुर में 26 अप्रैल को मतदान होगा.
उदयपुर सीट की बात करें तो इस सीट पर बीजेपी और कांग्रेस दोनों ने ही प्रत्याशियों की घोषणा कर दी है. उदयपुर(एसटी) सीट राजस्थान की कुल 25 लोकसभा सीटों में से एक रिजर्व सीट है. यहां से बीजेपी ने मन्नालाल रावत को उम्मीदवार घोषित किया है. वहीं कांग्रेस ने ताराचंद मीणा को प्रत्याशी बनाया है. वर्तमान में उदयपुर सीट पर सांसद अर्जुनलाल मीना हैं, लेकिन बीजेपी ने उनको टिकट रिपीट नहीं किया और अन्य को प्रत्याशी बनाया है.
कौन हैं मन्नालाल रावत
राजस्थान परिवहन विभाग के अतिरिक्त आयुक्त (RTO Officer) जयपुर में मन्नालाल रावत वर्तमान में सेवा दे रहे हैं. मन्नालाल रावत की उम्र 53 साल है और पिछले कई वर्षों से संघ से जुड़े हैं. उन्हें संघ के कार्यक्रमों के दौरान बौद्धिक भाषण के लिए बुलाया जाता रहा है. वे लगातार आदिवासी इलाकों में धर्म परिवर्तन और BTP,BAP के कई मामलों पर सोशल मीडिया पर लोगों से भिड़ते नजर आ चुके हैं.
आदिवासी युवाओं को संघ से जोड़ने के लिए कई स्कूलों में भी अपने तेजस्वी भाषणों के लिए इन्हें विशेष रूप से पहचाना जाता है. रावत को संघ का पूरा समर्थन है ऐसे में उन्हें टिकट मिलने के पीछे संघ की रणनीति ही काम आई है. मन्नालाल वर्तमान में राजस्थान में परिवहन विभाग में एडिशनल कमिश्नर है वे लंबे समय तक उदयपुर में आरटीओ अधिकारी रह चुके हैं. हालांकि पहले इस सीट से रामचंद्र खराडी, नरेंद्र मीणा और वंदना मीणा उदयपुर (एसटी) सीट से प्रमुख दावेदार माने जा रहे थे.
कौन हैं उदयपुर से कांग्रेस प्रत्याशी ताराचंद मीणा
कांग्रेस ने उदयपुर (एसटी) सीट से ताराचंद मीणा को उम्मीदवार बनाया है. 60 वर्षीय ताराचंद मीणा उदयपुर में करीब 19 महीने तक जिला कलेक्टर रह चुके हैं. जिला कलेक्टर रहने के दौरान उन्होंने जनजाति बाहुल्य के कोटडा को लेकर 'मिशन कोटडा' पर अच्छा काम करने की कोशिश की थी. इसके तहत जनजाति वर्ग के अधिकतम लोगों को सरकार की योजनाओं का फायदा दिलाने के साथ ही उन्हें अधिकतम लोगों को साधने की कोशिश की थी.
ताराचंद मीणा को पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का करीबी माना जाता है. मीणा के उदयपुर जिला कलेक्टर के कार्यकाल के दौरान ही कांग्रेस का चिंतन शिविर आयोजित हुआ था. विधानसभा चुनाव के दौरान भी मीणा का झाडोल से कांग्रेस के प्रबल दावेदारों के रूप में नाम सामने आया था. इससे पहले में उदयपुर में ही जनजाति विभाग के आयुक्त भी मीणा रह चुके हैं.
मूल रूप से पाली के रहने वाले ताराचंद मीणा पिछले 5 सालों से उदयपुर संभाग में अलग-अलग पदों पर रहे हैं. ताराचंद मीणा राज्य सिविल सेवा से पदोन्नत 2011 बैच के IAS अधिकारी रहे. हालांकि इन्हों रिटारमेंट से पहले ही VRS ले लिया.
उदयपुर सीट पर वोटर्स
पुरुष मतदाता करीब-9,30,007
महिला मतदाता करीब- 8,87,933
उदयपुर सीट चुनावी समीकरण
उदयपुर में यह पहला मौका होगा जब बीजेपी और कांग्रेस दोनों के ही पार्टियों ने अपने पार्टी के कई बड़े नाम को दरकिनार करते हुए अब तक राजकीय सेवा में रहे उम्मीदवारों को चुनावी मैदान में उतारा है. दोनों ही प्रत्याशी बड़ी अधिकारी पोस्ट पर रह चुके हैं. दोनों ही उदयपुर में अपनी सेवाएं दी हैं ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि चुनावी मैदान में कौन सा अधिकारी अपना दमखम दिखाने में सफल हो पता है. करीब 29,52,477 उदयपुर की कुल जनसंख्या है. इसका 18 प्रतिशत हिस्सा शहरी और 81 प्रतिशत हिस्सा ग्रामीण है. वहीं कुल आबादी का 59.08 फीसदी अनुसूचित जनजाति और 5.05 फीसदी अनुसूचित जाति है.इसमें मीणा भी शामिल हैं.
2014 के चुनाव की बात करें तो बीजेपी के अर्जुनलाल मीणा ने कांग्रेस के रघुवीर मीणा को 2,36,762 मतों से हराया था. 2019 में एक बार फिर वह सांसद बने. लेकिन बीजेपी ने इस बार उनको टिकट काट कर मन्नालाल रावत को मैदान में उतारा है. ऐसे में इस सीट पर मुकाबला रोचक हो गया है. हालांकि सियासी गलियारों में चर्चा है कि बीजेपी ने अर्जुनलाल मीणा का टिकट काटा है ऐसे में बीजेपी को इस सीट पर नुकसान हो सकता है.