बालेश्वर : युद्ध तकनीक में भारत नित नए आयाम कायम कर रहा है. भारत ने स्वदेश में विकसित और परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम लंबी दूरी की बैलिस्टिक मिसाइलअग्नि -5’ का रविवार को ओडिशा तट पर सफल परीक्षण किया. इस मिसाइल की मारक क्षमता 5,000 किलोमीटर तक है. 


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रक्षा सूत्रों ने बताया कि सतह से सतह तक मार करने में सक्षम इस मिसाइल को सुबह नौ बजकर, 45 मिनट पर डॉ. अब्दुल कलाम द्वीप पर एकीकृत परीक्षण रेंज (आईटीआर) के लांच पैड-4 से मोबाइल लांचर की मदद से प्रक्षेपित किया गया.


रक्षा मंत्रालय ने बताया कि परीक्षण सफल रहा और प्रक्षेपण के दौरान सभी रडारों, ट्रैकिंग उपकरणों एवं निगरानी स्टेशनों से मिसाइल के हवा में प्रदर्शन पर नजर रखी गई और उसकी निगरानी की गई. मिशन के सभी मकसदों को हासिल कर लिया गया. रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने ‘ए 5’ मिशन की कामयाबी के लिए डीआरडीओ के सभी वैज्ञानिकों, कर्मियों, सशस्त्र बलों और उद्योगों को बधाई दी है. अग्नि 5 का यह छठा परीक्षण था और परीक्षण के दौरान इसने पूरी दूरी तय की. 


रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) के एक अधिकारी ने बताया कि ‘अग्नि-5’ नौवहन एवं मार्गदशन, वारहेड एवं इंजन के संदर्भ में नई प्रौद्योगिकी से लैस अत्याधुनिक मिसाइल है. अधिकारी ने बताया कि ‘अग्नि-5’ के परीक्षण के दौरान स्वदेश निर्मित कई नई प्रौद्योगिकियों का सफल परीक्षण हुआ. नौवहन प्रणाली, बेहद उच्च सटीक रिंग लेजर गायरो आधारित इनर्शियल नैविगेशन सिस्टम (आरआईएनएस) और अत्याधुनिक सटीक आकलन करने वाले माइक्रो नैविगेशन सिस्टम (एमआईएनएस) से यह सुनिश्चित हुआ कि मिसाइल सटीक दूरी के कुछ ही मीटर के भीतर अपने लक्ष्य बिंदु तक पहुंच गई. 


‘अग्नि-5’ का पहला परीक्षण 19 अप्रैल, 2012 को, दूसरा 15 सितंबर 2013, तीसरा 31 जनवरी 2015 और चौथा परीक्षण 26 दिसंबर 2016 को किया गया था. पांचवा परीक्षण 18 जनवरी 2018 को हुआ था. पहले के सभी पांचों परीक्षण भी सफल रहे थे. अग्नि-1 की मारक क्षमता-700 किमी, अग्नि-2 की मारक क्षमता 2000 किमी, अग्नि- 3 की मारक क्षमता 2500 किमी और अग्नि-4 की मारक क्षमता 3500 किमी है.