मुस्लिम दोस्त के घर की लाज बचाने के लिए युवक ने किया ऐसा काम, चारों तरफ हो रही चर्चा!
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मुस्लिम दोस्त के घर की लाज बचाने के लिए युवक ने किया ऐसा काम, चारों तरफ हो रही चर्चा!

बिसंडा थाना क्षेत्र के एक गांव निवासी 17 वर्षीय किशोरी को गांव का ही एक युवक अपहरण कर लिया. इसके बाद युवती को उसने मुंबई जाने वाली तुलसी एक्सप्रेस ट्रेन में पहले से मौजूद चार युवकों के हवाले किशोरी को कर दिया. 

सांकेतिक तस्वीर

बांदा: उत्तर प्रदेश के बांदा जिले के एक युवक ने दोस्ती की मिसाल पेश की है. अपने मुस्लिम दोस्त की बहन को बचाने के लिए 230 किलोमीटर तक अपहरणकर्ताओं का पीछा करते हुए सही सलामत बचा लिया. बताया जा रहा है कि गांव के ही एक युवक ने किशोरी को बहला-फुसलाकर अपहरण कर लिया था. इसके बाद उसे चार युवकों को के हवाले कर दिया था. 

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबाकि, बिसंडा थाना क्षेत्र के एक गांव निवासी 17 वर्षीय किशोरी को गांव का ही एक युवक अपहरण कर लिया. इसके बाद युवती को उसने मुंबई जाने वाली तुलसी एक्सप्रेस ट्रेन में पहले से मौजूद चार युवकों के हवाले किशोरी को कर दिया. 

हिंदू दोस्त को दी जानकारी 
जब बहन की घर से लापता होने की सूचना मुस्लिम युवक को लगी तो उसने अपने एक हिंदू दोस्त को पूरी घटना की जानकारी दी. फिर हिंदू दोस्त ने दोस्ती का फर्ज निभाते हुए बहन को ढूंढने के लिए जी-जान से लग गया. दोनों दोस्त सबसे पहले अतर्रा रेलवे स्टेशन गए. वहां पूछताछ की, लेकिन कोई पता नहीं चला. इसपर रेलवे स्टेशन के सीसीटीवी फुटेज देखने के लिए थाना, चौकी और स्टेशन मास्टर से मिले, लेकिन फुटेज देख नहीं पाए. 

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तीसरे दोस्त ने दी जानकारी 
इस दौरान किशोरी के भाई की तीसरे दोस्त से बात हुई जो मुंबई जाने के लिए बांदा रेलवे स्टेशन पर पहुंचा था. उसने किशोरी के भाई को बहन के अपहरण की जानकारी देते हुए उसके फोटो भी भेज दिया. इसके बाद साथी ट्रेन में किशोरी की तलाश शुरू कर दिए. तभी दोनों दोस्त भी बांदा स्टेशन पहुंच गए. ट्रेन में सवार दोस्त ने बताया कि कोच नंबर तीन में चार युवक तुम्हारी बहन को घेरे बैठे हैं.

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महोबा तक किया कार से पीछा
इसके बाद हिंदू दोस्त ने अपनी बहन की कार मंगवाई और महोबा तक तुलसी एक्सप्रेस का पीछा किया. तबतक ट्रेन अगले स्टेशन पर पहुंच गई. फिर मऊरानीपुर रेलवे स्टेशन पहुंचे तो ट्रेन झांसी के लिए निकल चुकी थी. इस दौरान दोस्त कार से लगातार ट्रेन का पीछा करता रहा. 

किशोरी को छोड़ फरार हुए अपहरणकर्ता 
झांसी स्टेशन पर पहुंचने से पहले दोस्त ने जीआरपी से संपर्क कर कोच नंबर और किशोरी की फोटो भेजी. इसके बाद आनन-फानन में जीआरपी ने ट्रेन रुकते हुए कोच को घेर लिया. तलाशी शुरू की तो अपहरणकर्ता युवती को छोड़ कर फरार हो गए. झांसी जीआरपी और उसके हिंदू दोस्त की मदद से एक भाई को उसकी बहन सही सलामत मिल गई.  यह मामला 10 जून का है. इसकी जानकारी तब हुई जब एक आरोपी को पकड़ा गया और थाना पुलिस ने बिना कार्रवाई छोड़ दिया. 

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