UP Lok Sabha Chunav 2024: यूपी में 17 लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ने जा रही है कांग्रेस ने मजबूत प्रत्याशियों की तलाश तेज कर दी है. कई सीटों पर दावेदारों के नाम सामने आ रहे हैं. इसमें प्रयागराज सीट भी शामिल है, जो कांग्रेस के खाते में गई है.
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मोहम्मद गुफरान/प्रयागराज: लोकसभा चुनाव की तारीखों का भले ही ऐलान नहीं हुआ हो, लेकिन विपक्षी दलों ने अपनी उम्मीदवारों के नाम तय करने शुरू कर दिए हैं. उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और कांग्रेस का गठबंधन है, इसी गठबंधन के तहत इलाहाबाद संसदीय सीट कांग्रेस पार्टी के खाते में है. जहां पर उम्मीदवार उतारे जाने को लेकर कांग्रेस पार्टी के भीतर लगातार मंथन का दौर जारी है. इलाहाबाद संसदीय सीट जातिगत समीकरणों के तहत ब्राह्मण बाहुल्य मानी जाती है. ऐसे में कांग्रेस पार्टी की पहली प्राथमिकता में ब्राह्मण कैंडिडेट को उतारने की है. जिसके लिए कई दावेदारों के नाम सामने भी आ रहें हैं.
इन तीन चेहरों को लेकर चर्चा तेज
कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक इलाहाबाद संदीय सीट के दावेदारों में तीन नामों पर प्रमुखता से चर्चा चल रही है. युवा चेहरा प्रियंका गांधी के करीबी विवेकानंद पाठक, डॉक्टर सत्या पांडेय और पूर्व केंद्रीय मंत्री अनिल शास्त्री के नाम पर मंथन का दौर जारी है. डॉक्टर सत्या पांडेय इसके पहले भी कांग्रेस पार्टी के टिकट पर महापौर का चुनाव लड़ चुकी हैं. ब्राह्मण महिला होने के चलते उनकी भी दावेदारी मजबूत मानी जा रही है. वहीं पूर्व केंद्रीय मंत्री अनिल शास्त्री के नाम पर भी कांग्रेस के अंदर खाने चर्चा चल रही है. क्यूंकि इलाहाबाद संसदीय सीट पर कायस्थ्य मतदाताओं की भी संख्या अच्छी खासी है और अनिल शास्त्री पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री के बेटे हैं. इसलिए अनिल शास्त्री को भी इलाहाबाद संसदीय सीट पर मजबूत उम्मीदवार माना जा रहा है.
कांग्रेस के अंदर खाने से जो खबरें आ रही हैं, उसमें प्रियंका गांधी के करीबी और इलाहाबाद विश्वविद्यालय के पूर्व छात्र नेता विवेकानंद पाठक को लेकर चर्चाओं का बाजार गर्म है. कहा जा रहा है कि कांग्रेस पार्टी अपने मूल कैडर को ही इलाहाबाद संसदीय सीट पर चुनाव लड़ने पर विचार कर रहा है. जिसमें विवेकानंद पाठक का नाम बताया जा रहा है. विवेकानंद पाठक युवा चेहरा हैं और छात्र राजनीति से निकलकर कांग्रेस के प्रदेश महासचिव हैं. विवेकानंद पाठक प्रियंका गांधी के विश्वसनीय लोगों में भी शामिल हैं.
1984 के बाद से इलाबाद में नहीं जीती कांग्रेस
इलाहाबाद संसदीय सीट पर पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री के बाद 1984 में बालीवुड स्टार अमिताभ बच्चन को जीत मिली थी. अमिताभ बच्चन ने तब के दिग्गज नेता पूर्व मुख्यमंत्री हेमवती नन्दन बहुगुणा को हराकर सांसद बने थे. लेकिन इस जीत के बाद से कांग्रेस पार्टी का इलाहाबाद संसदीय सीट पर खाता नहीं खुल सका है. 2014 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी के सिंबल पर योगी सरकार में मौजूदा कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी ने चुनाव लड़ा था. तब नंदी को करीब एक लाख से अधिक वोट मिले थे. लेकिन 2019 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी का उम्मीदवार अपनी जमानत भी नहीं बचा पाया था.
हालांकि समाजवादी पार्टी से कांग्रेस पार्टी का गठबंधन है और समाजवादी पार्टी इलाहाबाद संसदीय सीट पर कई बार जीत दर्ज कर चुकी है. इसलिए गठबंधन के सहारे कांग्रेस पार्टी अपने वजूद की लड़ाई में इलाहाबाद संसदीय सीट पर उतरने की तैयारियों में जुटी है.
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