Bharat Jodo Yatra in UP : भारत जोड़ो यात्रा आज बागपत में, 80 सीटों वाले यूपी में महज 120 किमी यात्रा से क्या संदेश देंगे राहुल गांधी?
Advertisement
trendingNow0/india/up-uttarakhand/uputtarakhand1513836

Bharat Jodo Yatra in UP : भारत जोड़ो यात्रा आज बागपत में, 80 सीटों वाले यूपी में महज 120 किमी यात्रा से क्या संदेश देंगे राहुल गांधी?

 कांग्रेस नेता राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा बुधवार को उत्तर प्रदेश के बागपत जिले में पहुंचेंगी. वेस्ट यूपी के जाटलैंड में राहुल गांधी क्या संदेश देंगे, इस पर सभी की निगाहें रहेंगी.

Bharat Jodo Yatra : भारत जोड़ो यात्रा UP की ओर बढ़ रही

Bharat Jodo Yatra in Baghpat : कांग्रेस नेता राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा बुधवार को उत्तर प्रदेश के बागपत जिले में पहुंचेंगी. वेस्ट यूपी के जाटलैंड में राहुल गांधी क्या संदेश देंगे, इस पर सभी की निगाहें रहेंगी. हालांकि 80 लोकसभा सीटों वाले यूपी में राहुल गांधी की पदयात्रा महज 120 किलोमीटर की ही रहेगी औऱ इसको लेकर सवाल उठ रहे हैं.

राजनीतिक विश्लेषक कह रहे हैं कि दक्षिण भारत से उत्तर भारत में 3100 किलोमीटर की 110 दिनों से ज्यादा की ये पदयात्रा हो चुकी है, लेकिन 25 करोड़ की आबादी वाले यूपी में महज दो दिनों की पदयात्रा के बाद राहुल गांधी का ये अभियान हरियाणा में प्रवेश कर जाएगा. ऐसे में सवाल उठ रहा है कि क्या यूपी की राजनीतिक अहमियत को नजरअंदाज कर मिशन 2024 के पहले राहुल गांधी का ये जोखिम कांग्रेस को कितना नुकसान पहुंचा सकता है.

राहुल गांधी स्वयं अमेठी से 2019 का लोकसभा चुनाव हार चुके हैं औऱ वायनाड में उन्हें जीत नसीब हुई. रायबरेली एकमात्र सीट कांग्रेस के पास है, लेकिन क्या कांग्रेस 2024 में ये सीट भी बचा पाएगी, ये बड़ी चुनौती है. रायबरेली में सोनिया गांधी लंबे समय से नहीं गई हैं औऱ उनकी राजनीतिक सक्रियता भी धीरे-धीरे कम होती जा रही है. 

राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि जिस प्रकार गुजरात विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने स्वीट सरेंडर किया था, वही जोखिम लोकसभा चुनाव 2024 के पहले कांग्रेस लेने की स्थिति में है. केरल को छोड़ दें तो कांग्रेस अब दक्षिण भारतीय राज्यों तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना में भी उतनी मजबूत नहीं रही, जितना कि उसे होना चाहिए. क्या इससे उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी के मुकाबले बीजेपी से सीधे मुकाबला करने की कांग्रेस की कोशिशों को झटका नहीं लगेगा.

कांग्रेस के समक्ष चुनौती यह है कि  उसके पास यूपी में कोई दमदार चेहरा नहीं है, जिसे आगे करके वो पीएम मोदी के बाद बीजेपी में सबसे लोकप्रिय चेहरा बनकर उभरे योगी आदित्यनाथ का मुकाबला कर पाए. अजय सिंह लल्लू के बाद बृजलाल खाबरी के सामने भी खुद को साबित करने की चुनौती है. 2022 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने प्रियंका गांधी के चेहरे को आगे कर यूपी महिला वोटरों को अपने पाले में लाने और बीजेपी की बुलडोजर पॉलिटिक्स का विकल्प देने की कोशिश की थी. लेकिन उसमें भी वो कामयाब नहीं रही और एक सीट पर सिमट गई. 

Trending news