Hartalika Teej Vrat 2022: हरितालिका तीज के दिन महिलाएं भूलकर भी न करें ये काम, जरा सी गलती से व्रत हो जाएगा खंडित
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Hartalika Teej Vrat 2022: हरितालिका तीज के दिन महिलाएं भूलकर भी न करें ये काम, जरा सी गलती से व्रत हो जाएगा खंडित

हिंदू धर्म में व्रत और त्योहार का विशेष महत्व है. कुछ समय को छोड़ दिया जाए तो पूरे साल भारत में त्योहारों की धूम रहती है. खासकर उत्तर भारत में त्योहारों बड़ी ही धूमधाम से मनाए जाते हैं.  कुछ त्योहार ऐसे होते हैं जो महिलाओं के लिए सबसे खास होते हैं.

Hartalika Teej Vrat 2022: हरितालिका तीज के दिन महिलाएं भूलकर भी न करें ये काम, जरा सी गलती से व्रत हो जाएगा खंडित

Hartalika Teej 2022: हिंदू धर्म में व्रत और त्योहार का विशेष महत्व है. कुछ समय को छोड़ दिया जाए तो पूरे साल भारत में त्योहारों की धूम रहती है. खासकर उत्तर भारत में त्योहारों बड़ी ही धूमधाम से मनाए जाते हैं.  कुछ त्योहार ऐसे होते हैं जो महिलाओं के लिए सबसे खास होते हैं. हरतालिका तीज को उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश के कुछ भागों में तीजा भी कहा जाता है . ये व्रत कुंवारी कन्याएं और महिलाएं रख सकती है. कुंवारी कन्याएं अच्छे पति को प्राप्त करने के लिए और विवाहित महिलाएं अपने पति की लंबी आयु के लिए ये व्रत रखती हैं.

तीज का त्योहार साल में तीन बार आता है. हरियाली तीज, कजरी तीज व हरितालिका तीज. इस व्रत को करने के दौरान कई नियमों का पालन करना पड़ता है, तभी व्रत और पूजा सफल मानी जाता है. आइये जानते हैं हरतालिका तीज व्रत के नियम के बारे में.

खास बात है कि ये  व्रत निर्जला रखा जाता है यानी की बिना अन्न-जल ग्रहण किए. इन तीनों तीज का हिंदू धर्म में विशेष महत्व है और इन तीनों तीज में भगवान शंकर व माता पार्वती की पूजा की जाती है. भले ही एक-दूसरे से अलग हों, लेकिन इनमें कुछ समानता भी है.

31 अगस्त को मनाया जाएगा हरितालिका तीज
हरितालिका तीज का व्रत हर साल भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाया जाता है. हिंदू पंचांग के अनुसार इस साल हरितालिका तीज का व्रत 31 अगस्त को रखा जाएगा. इसे उत्तर और मध्य भारत में तीजा के नाम भी जाना जाता है. विवाहित महिलाएं अपने अखंड सौभाग्य की कामना के लिए यह व्रत रखती हैं और अविवाहित लड़कियां अच्छे वर की कामना के लिए भी इस व्रत को रखती हैं. धार्मिक शास्त्रों में उल्लेख है कि भगवान शिव को पति के रूप में पाने के लिए मां पार्वती ने इस व्रत को रखा था, इसलिए इस व्रत का महत्व बढ़ जाता है. हरतालिका तीज में महिलाएं पूरे दिन बिना जल ग्रहण किए व्रत का पालन करती है और व्रत के अगले दिन जल ग्रहण करती हैं. इस व्रत में भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा की जाती है.

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हरितालिका व्रत में न करें ये काम

 व्रत में सोना मना है
ये व्रत दिन और रात दोनों समय लगातार रखा जाता है. ऐसे में महिलाएं दिन के साथ रात को भी जागना होता है. महिलाएं जागते हुए भगवान शिव और मां पार्वती की अराधना करती हैं. इसलिए इस तीज को कठिन कहा जाता है. इन दिन महिलाओं को रातभर जागना जरूरी होता है, क्यों आठों प्रहर पूजा भी करना होती है और यह भी मान्यता या अंधविश्वास है कि जो महिला सो जाती है उसे अजगर या मगरमच्छ की योनि प्राप्त होती है.

गुस्से पर काबू रखें महिलाएं
 व्रत रखने वाली महिलाएं गुस्से पर काबू रखें. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार तीज के दिन हाथों में मेंहदी इसलिए लगाई जाती है कि ताकि मन शांत और ठंडा रहे.

भूलकर भी न पीएं पानी
हरितालिका तीज का व्रत अत्यंत कठिन माना जाता है. इस दिन अन्न के साथ महिलाएं फलाहार भी नहीं कर सकती है. इतना ही नहीं, ये निर्जला व्रत होता है. यानी कि व्रती महिलाएं इस दिन जल या पानी तक ग्रहण नहीं कर सकती हैं. भूलवश अगर किसी महिला ने पानी पी लिया तो व्रत खंडित हो जाता है. 

व्रत के दौरान दूध न पीएं
कुछ महिलाएं निर्जला व्रत के दौरान रात को दूध पी लेती हैं.  उनके बारे में मान्यता है ऐसी महिलाएं अगल जन्म में उन्हें सर्प का जन्म मिलता है.

हर साल रखें व्रत
ऐसी मान्यता है कि यदि कोई भी कुंवारी या विवाहित महिला एक बार इस व्रत को रखना शुरू कर देती हैं तो उसे जीवनभर यह व्रत रखना ही होता है. बीमार होने पर दूसरी महिला या पति इस व्रत को रख सकता है.

मन में न लाएं खोट
व्रत करने वाली महिलाओं को अपने मन में किसी तरह का खोट नहीं लाना चाहिए अर्थात किसी के भी प्रति गलत भावना ना रखें और भूलकर भी किसी को भला बुरा न कहें.

साल में होते हैं तीन तीज व्रत 
1-हरियाली
2-कजरी
3-हरतालिका तीज 

Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं-धार्मिक जानकारियों और इंटरनेट पर मौजूद सामग्री के आधार पर लिखी गई है.  यहां यह बताना जरूरी है कि ZEE UPUK किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है.

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