इंदिरा मैराथन में 9 साल की बेटी का कमाल: नन्हें कदमों से पूरी की 42 किमी की दौड़, DM ने नहीं दी थी अनुमति
Advertisement
trendingNow0/india/up-uttarakhand/uputtarakhand1031216

इंदिरा मैराथन में 9 साल की बेटी का कमाल: नन्हें कदमों से पूरी की 42 किमी की दौड़, DM ने नहीं दी थी अनुमति

काजल को आधिकारिक तौर पर मैराथन में शामिल होने के लिए जिला प्रशासन की तरफ से अनुमति नहीं मिली थी. इसके बावजूद काजल बिंद ने मैराथन में भाग लिया और मैराथन को भी पूरा किया. 

काजल बिंद.

मोहम्मद गुफरान/प्रयागराज: संगम नगरी प्रयागराज में 36वीं अखिल भारतीय प्राइजमनी इंदिरा मैराथन (Indira marathon 2021) का आयोजन किया गया. इसमें देश भर के सैकड़ों नामी धावकों ने हिस्सा लिया. 42.195 किलोमीटर लंबी मैराथन में पिछले कई सालों की तरह इस बार भी सेना के जवानों ने बाजी मारी, लेकिन इस 42 किलोमीटर की मैराथन में सभी के आकर्षण का केंद्र प्रयागराज के मांडा की काजल बिंद (Kajal Bind) रहीं. जिन्होंने इस पूरी 42 किलोमीटर की मैराथन को पूरा किया. 

महज 9 साल की हैं काजल 
काजल बिंद की उम्र महज 9 वर्ष है, लेकिन हौसले चट्टानों जैसे हैं. जिस 42 किलोमीटर लंबी मैराथन में सैकड़ों धावकों के पसीने छूट गए, वहां महज 9 साल की काजल बिंद ने 42 किलोमीटर की मैराथन को सकुशल पूरा किया. लोग उस समय आवाक रह गए, जब काजल ने अपने छोटे-छोटे कदमों के साथ मदन मोहन मालवीय स्टेडियम में बने मैराथन के इंडिंग जोन में प्रवेश किया. इस दौरान स्टेडियम में मौजूद हर किसी ने इस छोटी सी बच्ची के हौसले और जज्बे की दाद दी. 

ये भी पढ़ें- देव दीपावली: संगम तट पर देव दीपावली का भव्य आयोजन, 5 लाख दीपों से जगमगाया क्षेत्र

जिला प्रशासन ने नहीं दी थी अनुमति 
दरअसल, 18 वर्ष से कम उम्र के लोगों को प्रशासन ने इस बार मैराथन में शामिल होने का परमिशन नहीं दिया था. इस वजह से काजल को भी आधिकारिक तौर पर मैराथन में शामिल होने के लिए जिला प्रशासन की तरफ से अनुमति नहीं मिल सकी थी. इसके बावजूद काजल बिंद ने मैराथन में भाग लिया और मैराथन को भी पूरा किया. 

दिल्ली सरकार कर चुकी हैं सम्मानित 
बता दें कि काजल बिंद ने हाल ही में प्रयागराज के सुभाष चौराहे से इंडिया गेट नई दिल्ली तक की पैदल यात्रा पूरी की थी. इस दौरान काजल के पिता साथ थे. प्रयागराज में आयोजित होने वाली इंदिरा मैराथन में भाग लेने के लिए काजल ने पहले से ही तैयारियां शुरू कर दी थी. इसके लिए काजल बिना रुके रोजाना 42 किलोमीटर दौड़ती थीं, उसके बाद ही आराम करती थीं. प्रयागराज से दिल्ली तक की पैदल यात्रा करने पर काजल को दिल्ली सरकार ने सम्मानित भी किया था. कुछ समय पहले सूबे के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने भी काजल को सम्मानित किया था. 

ये भी पढ़ें- बुंदेलखंड के हालातों का जिम्मेदार कौन?कैसे होगा विकास, पलायन का क्या है समाधान?जानें

WATCH LIVE TV

Trending news