केरल के राज्यपाल बोले, जिन्ना कनवर्टेड मुसलमान थे, मुस्लिम नहीं थे उनके दादा
Advertisement

केरल के राज्यपाल बोले, जिन्ना कनवर्टेड मुसलमान थे, मुस्लिम नहीं थे उनके दादा

आरिफ मोहम्मद खान ने यह बात अखिल भारतीय संत समिति और गंगा महासभा की ओर से वाराणसी में आयोजित संस्कृति संसद में कही.

केरल के राज्यपाल बोले, जिन्ना कनवर्टेड मुसलमान थे, मुस्लिम नहीं थे उनके दादा

संकल्प दुबे. वाराणसी. केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने जिन्ना को लेकर बड़ा बयान दिया. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के जनक मोहम्मद अली जिन्ना कनवर्टेड थे. उनके दादा मुस्लिम नहीं थे.उनके पिता उम्र का एक पड़ाव पार करने के बाद मुस्लिम बने। 
आरिफ मोहम्मद खान ने यह बात अखिल भारतीय संत समिति और गंगा महासभा की ओर से वाराणसी में आयोजित संस्कृति संसद में कही. शनिवार को वाराणसी के रुद्राक्ष कन्वेंशन सेंटर में यह कार्यक्रम आयोजित हुआ. इसके दूसरे दिन प्रथम सत्र में बोलते राज्यपाल खान ने यह बात कही.

जिन्ना के पिता भी पक्की उम्र में मुस्लिम बने 
जिन्ना को लेकर यूपी चुनाव की बेला में सियासी बयान आते ही जा रहे हैं. अभी कुछ समय पहले ही सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने जिन्ना का महिमामंडन करते हुए कहा था कि सरदार पटेल, गांधी, नेहरू और जिन्ना एक ही संस्था में पढ़कर के बैरिस्टर बनकर आए थे, उन्होंने आजादी दिलाई, संघर्ष करना पड़ा हो तो वो पीछे नहीं हटे और अब अपने तीखे विचारों के लिए जाने जाते केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने जिन्ना के धर्म को लेकर अपना विचार जाहिर किया है. उन्होंने इस संस्कृति संसद में कहा कि मोहम्मद अली जिन्ना असल में कनवर्टेड मुस्लमान थे. उनके दादा भी मुस्लिम नहीं थे. उनके पिता भी उम्र का एक पड़ाव पार करने के बाद पक्की उम्र में मुस्लिम बने. इसके बाद उन्होंने कहा कि हम सभी एक ही आत्मा के बंधन में बंधे हुए हैं. हमारी संस्कृति में जो हमारी निंदा करता है. हम उसको भी अपने साथ लेकर चलते हैं. भारत का मत किसी को बाहर करने का नहीं है. हमारे यहां तो मानव सेवा ही माधव सेवा है.

देश के कल्चर पर बोलते हुए उन्हाेंने कहा कि हम अपनी संस्कृति पर गर्व करें, मगर संस्कृति के प्रति अपने कर्मों पर शर्म भी कर लें. हमें भारत में जिस तरह से हिंदू संस्कृति का प्रसार करना था, हमने नहीं किया. हम नाकाम हो गए. मुस्लिम धर्म की भारत के प्रति निष्ठा बताते हुए उन्होंने कहा- मोहम्मद साहब ने कहा था कि मैं मक्के में जरूर निवास करता हूं भारत नहीं गया, लेकिन भारत के इल्म की शीतल हवा यहीं से महसूस करता हूं. इस सत्र की अध्यक्षता अखिल भारतीय संत समिति के अध्यक्ष आचार्य अविचल दास तथा संचालन अशोक श्रीवास्तव ने किया. स्वागत सांसद रूपा गांगुली ने किया।

इस कार्यक्रम को प्रसिद्ध इतिहासकार कोनराड एल्स्ट, विश्व हिंदू परिषद के अंतरराष्ट्रीय कार्याध्यक्ष आलोक कुमार, अखिल भारतीय संत समिति के महामंत्री स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती, वरिष्ठ अधिवक्ता अश्विनी उपाध्याय, प्रो. वाचस्पति, प्रो. राम किशोर त्रिपाठी और अभिनेता अखिलेंद्र मिश्र  ने भी संबोधित किया.

WATCH LIVE TV

Trending news