सेसा गोवा और स्टरलाइट के विलय को मंजूरी

सेसा गोवा तथा स्टरलाइट इंडस्ट्रीज के बीच प्रस्तावित विलय एक कदम और आगे बढ़ गया है। मद्रास उच्च न्यायालय ने आज इस विलय प्रस्ताव को मंजूरी दे दी।

नई दिल्ली : सेसा गोवा तथा स्टरलाइट इंडस्ट्रीज के बीच प्रस्तावित विलय एक कदम और आगे बढ़ गया है। मद्रास उच्च न्यायालय ने आज इस विलय प्रस्ताव को मंजूरी दे दी। इस विलय का मकसद भारत में एक विशाल प्राकृतिक संसाधन कंपनी का गठन है।
स्टरलाइट ने बयान में कहा, ‘स्टरलाइट तथा सेसा गोवा के प्रस्तावित विलय तथा वेदांता समूह के एकीकरण को मद्रास उच्च न्यायालय ने 25 जुलाई, 2013 को मंजूरी दे दी है। गोवा में बंबई उच्च न्यायालय ने इस प्रस्ताव को 3 अप्रैल, 2013 को मंजूरी दे दी थी।’ विलय योजना के तहत स्टरलाइट के सेसा गोवा में विलय के बाद नई इकाई सेसा स्टरलाइट अस्तित्व में आएगी। विलय की प्रक्रिया पूरी होने के बाद कोंकोला कॉपर माइंस को छोड़कर वेदांता की सभी सहायक इकाइयों का नियंत्रण सेसा स्टरलाइट के पास आ जाएगा।
इस विलय के बाद सेसा स्टरलाइट दुनिया में प्राकृतिक संसाधनों की सातवीं सबसे बड़ी कंपनी बन जायेगी। इससे कंपनी की 1,000 करोड़ रुपये की लागत कम होगी। विलय येाजना को बंबई उच्च न्यायालय की गोवा पीठ के अलावा भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग, बीएसई, एनएसई, स्टरलाइट के शेयरधारकों और सेसा गोवा के शेयरधारकों से पहले ही मंजूरी मिल चुकी है। (एजेंसी)

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