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Tula Rashi Ke Bachche Kaise Hote hain: किसी भी बच्चे को आप पूरी तरह से अपने सांचे में नहीं ढाल सकते हैं, लेकिन उनकी राशि के जरिए उनके स्वभाव और आदतों से जुड़ी कुछ बुनियादी बातें जानकर उनकी कमियों को दूर कर सकते हैं. हम लोग तुला लग्न या राशि वाले बच्चों के मनोविज्ञान को समझते हैं. तुला वाले बच्चों के अंदर किस प्रकार की प्रतिभा होती है, इसको गहराई से जानते हैं.
तुला राशि के बच्चे बहुत ही चार्मिंग होते हैं लेकिन किसी चीज के बारे में निर्णात्मकता की कमी होती है, इनको बहुत सारी चीजों में से यदि एक चीज चुनने के लिए कहा जाए तो इनके लिए यह काम सबसे कठिन होता है. इन्हें रंगों और ध्वनियों का साथ बेहद प्रिय होता है. परंतु बेढंगी चीजें इन्हें अप्रिय होती हैं. ढेर सारी मेहनत करने के बाद अपने अंदर फिर से स्फूर्ति भरने के लिए यह आराम फरमाना पंसद करते हैं.
तुला का अर्थ है तराजू यानी बैलेंस (संतुलन), न्याय करना इसका प्रमुख ध्येय होता है. एक तरह से इनके अंदर न्यायाधीश का वास होता है. पढ़ने लिखने की उम्र में भी इन्हें कोई गलत बात नहीं पसंद आती है. इन बच्चों को नपी-तुली बात करना अच्छा लगता है, इन्हें डींगे मारना नहीं पसंद होता है. ये शब्दों के प्राण को समझते हैं और किसी को भी बातों से मारना अधिक पसंद करते हैं. ये संगीत व भाषण गंभीरता से सुनते हैं. इन बच्चों की दोस्ती हर तरह के लोगों से हो जाती है.
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तुला लग्न या राशि के बच्चे आदर्शवादी होते हैं और बहुत समझदार होते हैं. ये बच्चे अपनी बात को बहुत वजन देकर कहते हैं. इनकी जिंदगी में निराशा के लिए कोई जगह नहीं होती है. इनकी प्रकृति उदार होती है किंतु धन व्यय के मामले में संतुलन कुछ बिगड़ जाता है.
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ये बच्चे मिलनसार, हंसमुख और अंतःकरण से शुद्ध होते हैं. इनका जनसंपर्क भी अच्छा होता है. हर तरह के लोगों से मित्रता होती है. इनकी बुद्धि प्रखर होती है. संतोषी होते हैं जिसके कारण थोड़े आलसी भी हो जाते हैं. इन्हें कर्मठ मित्र और सहयोगी मिलते हैं. बड़े होने पर ये अपने सेवकों से बहुत प्रसन्न रहते हैं, मौका पड़ने पर अपने सेवकों के लिए अपने आदर्शों को भी ताक पर रख सकते हैं. दूसरों से प्रेम करना इनका विशेष गुण है. ये पुरानी परंपरा से हटकर नई गढ़ना ज्यादा पसंद करते हैं.
ये बच्चे पूरी तरह से प्रेमपूर्ण रहते हैं. इन्हें शोरगुल कम पसंद होता है. समाज में पूज्य लोग इन्हें पसंद होते हैं, इनमें बड़े होकर न्यायाधीश, संगीतकार, प्रशासनिक अधिकारी, राजनीतिज्ञ और धर्माचार्य होने के गुण होते हैं. दूसरों को बिना बोले ही ये प्रभावित कर लेते हैं. दूसरों की मदद में भी इन्हें काफी आनंद आती है. ये लोग कठिन कार्य को भी सरलता से करने में माहिर होते हैं.
इन बच्चों पर मौसम के बदलाव का तुरंत असर पड़ता है, खास तौर पर सर्दी के दिनों में. इनका शरीर कफ प्रधान होता है. ये बदलते मौसम में ठंड और खट्टे से ज्यादा प्रभावित होते हैं. इनका सीना चौड़ा होता है. इनकी गर्दन से लेकर सिर तक कहीं भी तिल अवश्य होता है.
इस राशि के बच्चों से हमेशा मधुर वाणी में बात करें और खुशनुमा वातावरण बनाने के लिए प्रेरित करें. बहस करने की आदत को निरुत्साहित करें.
जादुई मंत्र – इनमें निर्णय लेने की क्षमता कम होती है इसलिए किसी भी मामले में इन्हें विकल्प देने से बचें. इन्हें प्यार से निर्णय लेना समझाएं ताकि वे असमंजस को छोड़ कर उचित निर्णय कर सकें.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)