चीन ने अमेरिकी पर लगाया बैन, लपेटे में ले ली पूरी टेक इंडस्ट्री, अब क्या करेगा US?
China Ban on US: चीन ने अमेरिका को कुछ खास मिनरल्स (खनिजों) के एक्सपोर्ट पर रोक लगा दी है, जिससे अमेरिका के टेक सेक्टर में प्रोडक्शन प्रभावित हो सकता है. यह बैन अमेरिका द्वारा 140 चीनी कंपनियों पर बैन लगाने के बाद आया है.
US China Conflict: चीन ने अमेरिका को कुछ खास मिनरल्स (खनिजों) के एक्सपोर्ट पर रोक लगा दी है, जिससे अमेरिका के टेक सेक्टर में प्रोडक्शन प्रभावित हो सकता है. यह बैन अमेरिका द्वारा 140 चीनी कंपनियों पर बैन लगाने और चिप बनाने वाले उपकरणों पर कड़े कंट्रोल लगाने के एक दिन बाद आया है. आइए आपको इसके बारे में विस्तार से बताते हैं.
समाचार एजेंसी रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक चीन गैलियम, जर्मेनियम और अन्य खनिजों के निर्यात पर प्रतिबंध लगा रहा है. मंत्रालय ने कहा कि "संयुक्त राज्य अमेरिका को गैलियम, जर्मेनियम, एंटीमनी और सुपरहार्ड मैटेरिल्स के एक्सपोर्ट की अनुमति नहीं दी जाएगी."
चीन ने क्यों लगाया यह बैन
ये मिनरल्स (खनिज) अलग-अलग टेक्नोलॉजी में महत्वपूर्ण हैं, जिनमें सेमीकंडक्टर, इन्फ्रारेड टेक्नोलॉजी, फाइबर ऑप्टिक केबल, सोलर सेल्स और यहां तक कि गोला-बारूद और परमाणु हथियार जैसे सैन्य अनुप्रयोग भी शामिल हैं. गैलियम और जर्मेनियम का इस्तेमल सेमीकंडक्टर में किया जाता है, जबकि जर्मेनियम का यूज इन्फ्रारेड टेक्नोलॉजी, फाइबर ऑप्टिक केबल और सोलर सेल्स में भी किया जाता है.
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अमेरिका को टारगेट
इस बैन को तत्काल प्रभाव से लागू किया गया है. हालांकि, चीन ने पिछले साल इन खनिजों के निर्यात को सीमित करना शुरू कर दिया था, लेकिन यह नया प्रतिबंध विशेष रूप से अमेरिका टारगेट करता है. यह बैन दोनों देशों के बीच समीकंडक्टर टेक्नोलॉजी को लेकर चल रहे तनाव को दिखाता है.
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अमेरिकी की योजना
रॉयटर्स की रिपोर्ट में कहा गया है कि पहले भी इन खनिजों का एक प्रमुख उपभोक्ता होने के बावजूद, अमेरिका ने इस साल चीन से कोई खास जर्मेनियम या गैलियम आयात नहीं किया है. इस बीच आने वाली अमेरिकी सरकार ने भी चीन पर कड़ा रुख अपनाने का संकेत दिया है, जिसमें चीनी सामानों पर अतिरिक्त शुल्क लगाने की योजना है.