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Apple ने Elon Musk की SpaceX और T-Mobile के साथ पार्टनरशिप की है, जिससे iPhones में Starlink सैटेलाइट कनेक्टिविटी जोड़ी जा रही है. इस नई टेक्नोलॉजी का मकसद ऐसे इलाकों में भी कनेक्टिविटी उपलब्ध कराना है, जहां मोबाइल नेटवर्क नहीं पहुंच पाता. iOS 18.3 अपडेट, जो इस हफ्ते जारी हुआ है, अब Starlink के सैटेलाइट नेटवर्क को सपोर्ट करता है. शुरुआत में यह फीचर सिर्फ टेक्स्ट मैसेज भेजने के लिए उपलब्ध होगा, लेकिन भविष्य में इसमें डेटा और वॉयस कॉलिंग की सुविधा भी जोड़ी जाएगी.
Starlink सेवा कैसे होगी खास?
Apple पहले से ही iPhones में सैटेलाइट-आधारित SOS सेवा दे रहा है, जिसमें यूजर्स को अपने फोन को सही दिशा में घुमाकर सैटेलाइट से कनेक्ट करना पड़ता है. लेकिन Starlink सैटेलाइट नेटवर्क की सबसे खास बात यह है कि यह ऑटोमैटिकली कनेक्ट होगा, यानी आपका iPhone जेब में भी होगा, तब भी यह काम करेगा.
T-Mobile ने शुरू किया बीटा प्रोग्राम
T-Mobile ने इस सेवा के लिए सीमित बीटा प्रोग्राम शुरू किया है, जिसमें कुछ चुनिंदा iPhone यूजर्स को टेस्टिंग के लिए आमंत्रित किया गया है. इन यूजर्स को एक मैसेज मिला जिसमें लिखा था:
'आप T-Mobile Starlink बीटा में शामिल हैं. अब आप दुनिया के लगभग किसी भी कोने से सैटेलाइट के जरिए टेक्स्ट भेज सकते हैं.' फिलहाल यह सुविधा सिर्फ iPhone 14 और उससे नए मॉडल्स में उपलब्ध कराई जा रही है. आने वाले समय में इसे और ज्यादा यूजर्स और देशों में भी लॉन्च किया जाएगा.
Elon Musk ने क्या कहा?
Elon Musk ने इस साझेदारी पर सोशल मीडिया पर प्रतिक्रिया दी और बताया कि Starlink की मौजूदा तकनीक पहले से ही इमेज, म्यूजिक और पॉडकास्ट को सपोर्ट करती है. आगे चलकर इसमें वीडियो सपोर्ट भी जोड़ा जाएगा.
Apple की नई टेक्नोलॉजी का उद्देश्य
इस पार्टनरशिप से Apple की यह मंशा साफ है कि वह अपने यूजर्स को बेहतरीन कनेक्टिविटी और इनोवेटिव टेक्नोलॉजी प्रदान करना चाहता है. इस नई सुविधा के जरिए अब दूर-दराज और नेटवर्क से कटे इलाकों में भी iPhone यूजर्स जुड़े रह सकेंगे.