सियोल: उत्तर कोरियाई नेता किम जोंग उन और अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप परमाणु निरस्त्रीकरण पर ‘‘रचनात्मक’’ चर्चा जारी रखने पर सहमत हैं. प्योंगयांग की सरकारी मीडिया ने हनोई में दोनों नेताओं के बीच शिखर वार्ता अचानक समाप्त हो जाने के कुछ घंटों बाद शुक्रवार को यह बयान दिया.


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गौरतलब है कि दोनों नेताओं की सिंगापुर में पहली ऐतिहासिक शिखर वार्ता के बाद वियतनाम में यह उनकी बहुप्रतीक्षित दूसरी मुलाकात थी. दोनों नेता संयुक्त बयान पर हस्ताक्षर करने में असफल रहे और बातचीत गतिरोध के बीच समाप्त हो गई. हालांकि संयुक्त बयान पर दोनों नेताओं का हस्ताक्षर करना पहले से निर्धारित था.


बहरहाल, शुक्रवार को उत्तर कोरिया की आधिकारिक केसीएनए समाचार एजेंसी ने कहा कि किम और ट्रंप कोरियाई प्रायद्वीप के निरस्त्रीकरण और अमेरिका-उत्तर कोरिया संबंधों को बेहतर बनाने पर चर्चा के लिए रचनात्मक बातचीत जारी रखने पर सहमत हो गए थे. 


केसीएनए ने शिखर वार्ता में गतिरोध का जिक्र किए बिना कहा कि चेयरमैन किम और राष्ट्रपति ट्रंप ने भरोसा जताया कि अगर उत्तर कोरिया-अमेरिका धैर्य तथा बुद्धिमानी से एक साथ मिलकर काम करते हैं तो दोनों देशों के संबंधों में जमीनी स्तर पर सुधार आ सकता है. हालांकि आगे कई बाधाएं हैं. यह खबर तब आई जब उत्तर कोरिया के विदेश मंत्री री योंग हो ने देर रात एक संवाददाता सम्मेलन कर ट्रंप के इन दावों को खारिज कर दिया कि प्योंगयांग उस पर लगाए गए प्रतिबंधों को पूरी तरह हटाने की मांग कर रहा है.


री ने पत्रकारों को बताया कि उत्तर कोरिया ने प्रतिबंधों से आंशिक रूप से राहत देने के बदले में योंगब्योन परमाणु संयंत्र नष्ट करने की पेशकश दी थी जबकि ट्रंप ने पहले कहा था कि प्योंगयांग ने देश के प्रतिबंध परमाणु हथियारों और बैलिस्टिक मिसाइल कार्यक्रमों पर लागू सभी प्रतिबंध हटाने की मांग की है.