असम में बाढ़ से बुरी स्थिति, बिहार में ढह गया पुल, बिजली भी ठप

NDRF ने बिहार और असम में राहत बचाव कार्य के लिए 98 टीमें लगाई हैं. NDRF के मुताबिक दोनों राज्यों में बाढ़ से हालात बेहद खराब हैं. बिहार सरकार का कहना है स्थिति नियंत्रण में है. 

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Jul 16, 2020, 04:36 PM IST
    • गोपालगंज में सतर घाटल पुल का एक हिस्सा ही ढह गया. एक महीने पहले, 16 जून को सीएम नीतीश कुमार ने इसका उद्घाटन किया था
    • गुवाहाटी में ब्रह्मपुत्र नदी में पानी खतरे के निशान से एक मीटर ऊपर बह रहा है
असम में बाढ़ से बुरी स्थिति, बिहार में ढह गया पुल, बिजली भी ठप

पटनाः कोरोना संकट के बीच बिहार और असम बाढ़ के प्रकोप से जूझ रहे हैं. हालात इतने बुरे हैं कि नदियां उफान पर हैं और असम तक हाहाकार मचा हुआ है. लोगों को बाढ़ की तबाही से बचाने के लिए NDRF की टीम तैनात की गई है. बाढ़ग्रस्त इलाकों में फंसे हुए लोगों को राहत शिविर में पहुंचाया जा रहा है. लाखों लोगों को बाढ़ के कारण अपना घर छोड़ना पड़ा है.

कई इलाकों में मूसलाधार बारिश
NDRF ने बिहार और असम में राहत बचाव कार्य के लिए 98 टीमें लगाई हैं. NDRF के मुताबिक दोनों राज्यों में बाढ़ से हालात बेहद खराब हैं. नेपाल और चीन से आने वाली नदियां भारत में तबाही मचा रही हैं.

बिहार के कई इलाकों में मूसलाधार बारिश और नेपाल से आ रही नदियों में उफान की वजह से हाहाकार मचा हुआ है. बिहार सरकार का कहना है स्थिति नियंत्रण में है. 

NH-31 पर कटाव
भारी बारिश से फारबिसगंज, जोकीहाट, सिकटी और पलासी के भी निचले इलाकों में पानी भर गया है. ये इलाके नेपाल की तलहटी का इलाका है. मधेपुरा में कोसी नदी का पानी आसपास के इलाकों में घुस गया है. ग्रामीण बाढ़ के बीच से किसी तरह खुद को बचाने में लगे हुए हैं. दूसरी ओर कटिहार में कोसी नदी ने एनएच-31 पर कटाव हो रहा है. 

एक महीने पहले बना पुल ढहा
बाढ़ और बारिश के बीच गोपालगंज में एक और भीषण मामला सामने आया है. यहां सतर घाटल पुल का एक हिस्सा ही ढह गया. एक महीने पहले, 16 जून को सीएम नीतीश कुमार ने इसका उद्घाटन किया था. इसे बनाने में 264 करोड़ की लागत आई थी.

आठ साल में बनकर तैयार हुआ पुल सिर्फ एक महीने में ढह गया. 
 
कई गांवों में नाव का सहारा
दर्जनों गांवों में आने-जाने के लिए नाव का ही सहारा है और  सैकड़ों गांव तो जाने लायक भी नहीं बचे हैं. वहां गावों में पानी भरा हुआ है और घर-झोपड़ी, अनाज-फसल सभी कुछ डूब चुके हैं. सीतामढ़ी जिले में सैकड़ों एकड़ की गन्ना और मकई की फसल बाढ़ में बर्बाद हो गई है. यहां दर्जनों गांवों में बाढ़ का पानी घुस आया है. लोगों ने जान बचाने के लिए ऊंचाई वाले स्थानों पर शरण ली है.

पावर हाउस में पानी भरा
गुवाहाटी में ब्रह्मपुत्र नदी में पानी खतरे के निशान से एक मीटर ऊपर बह रहा है. असम के बरपेटा जिले में बाढ़ का कहर सैकड़ों गांवों पर टूटा है. मुजफ्फरपुर में बागमती नदी के जलस्तर में एक फीट की कमी आई है लेकिन बाढ़ का कहर जारी है. पावर स्टेशन में बाढ़ का पानी भरने से नदी के आसपास के इलाकों में बिजली बंद हो गई है. 

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