मध्यप्रदेश में गहमागहमी: संघ प्रमुख मोहन भागवत से मिले ज्योतिरादित्य सिंधिया
मध्यप्रदेश में राजनीतिक गतिविधियां हमेशा चलती रहती हैं और कोई न कोई अप्रत्याशित घटना जरूर घटती है. मोहन भागवत से सिंधिया की मुलाकात ने कई अटकलों को हवा दे दी है.
भोपाल: भाजपा में आने के बाद ज्योतिरादित्य सिंधिया ने पहली बार राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक मोहन भागवत से मुलाकात की है. सिंधिया की मुलाकात के बाद से मध्यप्रदेश में कई अटकलों को हवा मिल गयी है. लोग कह रहे हैं कि हो सकता है अब ज्योतिरादित्य सिंधिया को केंद्रीय कैबिनेट में जगह मिल जाये. हालांकि मोदी सरकार के मंत्रिमंडल के विस्तार की अभी कोई खबर नहीं है.
अकेले मोहन भागवत से मिले ज्योतिरादित्य सिंधिया
गौरतलब है कि भाजपा में शामिल होने के करीब छह माह बाद पहली बार नागपुर स्थित राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के मुख्यालय पहुंचे सिंधिया के साथ भाजपा के किसी अन्य नेता के न होने के मायने भी निकाले जा रहे हैं. सिंधिया ज्यादतर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के साथ ही नजर आते हैं. माना जा रहा है कि सिंधिया की संघ तक पहुंच में पार्टी की मराठी लॉबी की सक्रियता है.
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भाजपा में आने के बाद पहली बार अपने जनपद पहुंचे थे सिंधिया
आपको बता दें कि ज्योतिरादित्य सिंधिया भाजपा में आने के बाद और मध्यप्रदेश में शिवराज सिंह की सरकार बनवाने के बाद पहली बार अपने गृह जनपद ग्वालियर पहुंचे थे. वहां भाजपा ने उनका भव्य स्वागत किया था और कांग्रेस ने उनका विरोध किया था. राजमाता विजयाराजे सिंधिया ने आरएसएस और जनसंघ को मजबूत करने में अहम भूमिका निभाई थी. उसी विरासत पर ज्योतिरादित्य सिंधिया भी आगे बढ़ रहे हैं. ऐसे में संघ का वरदहस्त जरूरी होगा.
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उल्लेखनीय है कि मध्य प्रदेश उपचुनाव के प्रचार की कमान मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और राज्यसभा सदस्य ज्योतिरादित्य सिंधिया के हाथों में हैं. हाल ही ये दोनों नेताओं ने ग्वालियर इलाके का दौरा करके बीजेपी के पक्ष में माहौल बनाने की कोशिश की है. आगामी उपचुनाव में जीत के बाद मध्यप्रदेश में भाजपा सरकार को स्थायित्व मिलेगा.