Jammu and Kashmir में टूट गई मोदी-शाह की आस; घाटी में NC को मिला 370 का साथ!
Advertisement
trendingNow,recommendedStories0/zeesalaam/zeesalaam2465234

Jammu and Kashmir में टूट गई मोदी-शाह की आस; घाटी में NC को मिला 370 का साथ!

Jammu and Kashmir Election Result 2024: जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव में नेशनल कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस गठबंधन ने सबसे ज्यादा सीटें जीती हैं. एनसी-कांग्रेस गठबंधन के उम्मीदवारों ने 48 सीटों पर जीत हासिल की है, जबकि भाजपा 29 सीटों पर ही सिमट गई है. कश्मीर घाटी में बीजेपी को एक भी सीट नहीं मिली है.

Jammu and Kashmir में टूट गई मोदी-शाह की आस; घाटी में NC को मिला 370 का साथ!

Jammu and Kashmir Election Result 2024: जम्मू-कश्मीर की 90 विधानसभा सीटों के नतीजे आ गए हैं. फारूक अब्दुल्लाह की पार्टी  नेशनल कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस गठबंधन को बहुमत मिला है. एनसी-कांग्रेस गठबंधन के उम्मीदवारों ने 48 सीटों पर जीत हासिल की है, जबकि भाजपा 29 सीटों पर ही सिमट गई है.  निर्दलीय ने 7, महबूबा मुफ्ती पार्टी पीडीपी ने 3, बाकी अन्य तीन पार्टियों ने एक-एक सीट पर जीती है. हालांकि, बीजेपी ने 29 सीटों के साथ विधानसभा में मजबूत विपक्ष की भूमिका में जरूर नजर आएगी. 

370 हटाने के बाद भी BJP की घाटी में नहीं बदली स्थिति
जम्मू रीजन में जब सीटों की तादाद कम होती थी तब भी बीजेपी लगातार कई चुनावों जम्मू में 25 से 26 सीटों पर जीतती रही है. साल 2014 और 2007 में जब सीटें बढ़ाकर 43 सीटें की गई थीं तब भी बीजेपी 26 सीटों पर जीत हासिल की थी. जबकि, कश्मीर घाटी में बीजेपी को एक भी सीट नहीं मिली थी, जो इस बार भी बरकरार है. मतलब साफ है कि जम्मू कश्मीर में बीजेपी अनुच्छेद 370 को हटाने के बाद भी वहीं हैं जहां वो आज से 10 साल पहले थी.  अनुच्छेद 370 हटाने के फैसले और 'नया कश्मीर' का वादा करने वाली बीजेपी का यह प्लान घाटी के लोगों पसंद नहीं आया, जिसका फायदा नेशनल कॉन्फ्रेंस मिला.

यह भी पढ़ें:-  शगुन परिहार समेत 3 महिला MLA J&K विधान सभा में उठाएंगी आधी आबादी की आवाज

 

 370 'नया कश्मीर' पर पड़ा भारी 
 5 अगस्त, 2019 भारतीय जनता पार्टी की सरकार ने आर्किटल 370 को निरस्त कर जम्मू-कश्मीर का स्पेशल स्टेटस का दर्जा छीन लिया. इतना ही केंद्र ने परिसीमन कर जम्मू-कश्मीर को केंद्र शासित प्रदेश भी बना दिया. ये सब करने के बाद मोदी सरकार ने वहां के लोगों से डेवलेपमेंट , नौकरियां और सुरक्षा के नाम पर 'नया कश्मीर' का वादा रखा.

मोदी-शाह की टूटी उम्मीदें
दूसरी तरफ, फारूक अब्दुल्लाह की नेशनल कॉन्फ्रेंस ने केंद्र सरकार के ने 370 हटाने के  फैसले को 'कश्मीरी अस्मिता' से जोड़ दिया, जिसका नतीजा साफ दिख रहा है. नेशनल कॉन्फ्रेंस के चीफ और जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला 370 के मुद्दे को पूरी तरह भुनाने में कोई करस नहीं छोड़ा. वो हमेशा इस फैसले को गलत ठहराया और साथ सरकार बनने के बाद अनुच्छेद 370 और जम्मू-कश्मीर का राज्य का दर्जा बहाल करने का भी वादा किया. 

नेशनल कॉन्फ्रेंस ने पीएम नरेंद्र मोदी  और गृह मंत्री अमित शाह की उम्मीदों पर मानी फेरते हुए जम्मू-कश्मीर सरकार बनाने की तैयारी में जुट गई है, 

Trending news