Free Helmet in Rajasthan: सड़क हादसों (Road Accidents) की संख्या और इनमें होने वाली मौत का आंकड़ा कम करने के लिए सरकार ने ये फैसला लिया है. परिवहन मंत्री खाचरियावास ने कहा, 'राज्य सरकार सड़क सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है. घायलों और मृतकों की संख्या में कमी लाना प्राथमिकता है.'
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जयपुर: राजस्थान (Rajasthan) में अब दुपहिया वाहन (Two Wheelar) खरीदने पर एक हेलमेट नि:शुल्क यानी फ्री में मिलेगा. राज्य सरकार के परिवहन मंत्री ने इस संबंध में एक प्रस्ताव को मंजूरी दी है. सरकार की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि परिवहन मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास (Pratap Singh Khachariyawas) ने इस संबंध में राज्य के सभी वाहन डीलरों को निर्देश जारी करने के निर्देश दिए हैं.
सड़क हादसों (Road Accidents) की संख्या और इनमें होने वाली मौत का आंकड़ा कम करने के लिए सरकार ने ये फैसला लिया है. परिवहन मंत्री खाचरियावास ने बताया कि राज्य सरकार सड़क सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है. हादसों, उनमें घायलों और मृतकों की संख्या में कमी लाना विभाग की सर्वोच्च प्राथमिकता है. अक्सर देखा जाता है कि बहुत सारे लोग पैसे की कमी या फिर चालान से बचने के लिए सस्ता और कामचलाऊ हेलमेट खरीद लेते हैं. वहीं बहुत से लोग ऐसे भी होते हैं जो सरकारी मान्यता प्राप्त मजबूत हेलमेट की जरूरत नजरअंदाज करते हुए साधारण हेलमेट को प्राथमिकता देते हैं और यही लापरवाही अक्सर जानलेवा साबित हो जाती है.
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देश में हर साल लगभग 1.5 लाख लोग रोड एक्सीडेंट (road accident) में मारे जाते हैं वहीं लगभग 4.5 लाख से ज्यादा लोग सड़क पर हादसे का शिकार हो जाते हैं. सड़क हादसे में मरने वाले की संख्या को लेकर सरकार काफी चिंतित है. यानी सड़क पर हादसों के मामले में भारत, अमेरिका (US) और चीन (China) से आगे है. सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री (Road Transport & Highways Minister) नितिन गडकरी (Nitin Gadkari) ने सभी स्टेक होल्डर्स से रोड एक्सीडेंट में मारे जाने वाले लोगों की संख्या को कम करने के लिए कदम उठाने को कहा है.
वहीं 2025 तक सड़क दुर्घटनाओं से होने वाली मौतों में 50 फीसदी की कमी का लक्ष्य रखा गया है. उन्होने कहा कि सड़क दुर्घटनाओं में होने वाली मौतों के कारण खतरनाक स्थिति बन रही है और भारत सड़क दुर्घटना के मामले में पहले स्थान पर, अमेरिका (US) और चीन (China) से आगे है.
भारत में हेलमेट की गुणवत्ता सुनिश्चित करने को लेकर निर्माताओं को भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) के मानकों को पूरा करना जरूरी होता है. इसके बावजूद देश में बड़े पैमाने पर धड़ल्ले से बेकार क्वालिटी के हेलमेट का निर्माण होता है. भारत में रोड एक्सीडेंट की भयावाह स्थिति के बीच हेलमेट की गुणवत्ता का मामला देश की अदालतों तक पहुंच चुका है. इस सिलसिले में हाल ही में दिल्ली हाई कोर्ट ने BIS को हेलमेट के निर्माण और बिक्री पर सख्त निगरानी करने के निर्देश दिए थे.
(इनपुट भाषा से)
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