Bihar Tourism: हिंसा से जल रहा सासाराम ऐतिहासिक रूप से कितना समृद्ध, यहां की प्राकृतिक खूबसूरती आपका मन मोह लेगी
Advertisement

Bihar Tourism: हिंसा से जल रहा सासाराम ऐतिहासिक रूप से कितना समृद्ध, यहां की प्राकृतिक खूबसूरती आपका मन मोह लेगी

रामनवमी की शोभा यात्रा के बाद बिहार के कई जिलों में दंगे की आग भड़क उठी. इसमें सबसे ज्यादा कोई जला तो वह था सासाराम. अब तो सासाराम शांत है लेकिन क्या आपको पता है कि बिहार का यह क्षेत्र प्राकृतिक और ऐतिहासिक समृद्धि का केंद्र है.

(फाइल फोटो)

Bihar Tourism: रामनवमी की शोभा यात्रा के बाद बिहार के कई जिलों में दंगे की आग भड़क उठी. इसमें सबसे ज्यादा कोई जला तो वह था सासाराम. अब तो सासाराम शांत है लेकिन क्या आपको पता है कि बिहार का यह क्षेत्र प्राकृतिक और ऐतिहासिक समृद्धि का केंद्र है. यहां के इतिहास के बारे में आप पढ़ते तो हैं लेकिन यहां की प्राकृतिक सुंदरता के बारे में क्या आप जानते हैं. यह पर्यटन के लिहाज से बिहार के प्रमुख केंद्रों में से एक है. आपको बता दें कि सासाराम की पहचान एक समृद्ध राजनीतिक जमीन के तौर पर भी रही है. इस जमीन ने बाबू जगजीवन राम से लेकर मीरा कुमार तक को राजनीतिक पहचान दी.   

आपको बता दें कि बिहार का एक जिला है रोहतास जिसका मुख्यालय है सासाराम. प्रदेश की राजधानी पटना से 150 किलोमटीर की दूरी. भले ही इसके बारे में लोग कम बातें करते हों लेकिन आपको बता दें किया कई ऐसे डेस्टिनेशन हैं जहां आप घूम सकते हैं. यहां खूबसूरत मंदिरों, किलों, झरने आपके मन को मोहने के लिए काफी हैं. 

यहां का चौरासन मंदिर जो भगवान शिव को समर्पित है. इस मंदिर में बाबा तक पहुंचने के लिए 84 सीढ़ियां चढ़नी पड़ती है. इसके साथ ही मझर कुंड और धुआ कुंड भी आप जाकर देख सकते हैं. जहां टेढ़े-मेढ़े रास्ते से गुजरती हुई पानी की धारा ऊंचाई से सीधे नीचे गिरती है और यहां आपका मन प्रसन्न हो जाएगा. 

ये भी पढ़ें- MHA ने हनुमान जयंती पर जारी की एडवाइजरी, अमित शाह ने उठाया ये बड़ा कदम

यहीं शेरशाह सूरी का मकबरा है. आपको बता दें कि यह वही शेरशाह सूरी हैं जिसने कोलकाता से लेकर बनारस तक ग्रैंड ट्रंक रोड का निर्माण कराया था. यहां शेरशाह का मकबरा जो 1542 में बनाया गया था. यह 52 एकड़ में फैले तलाब के बीच बना है. वहीं रोहतासगढ़ का किला भी आपको अपनी ओर आकर्षित करेगा. इसमें दरवाजों की संख्या 83 है. इसके बारे में मान्यता है कि राजा हरिश्चंद्र के बेटे रोहितश्व ने इसका निर्माण कराया था. 

यहीं सासाराम में शेरगढ़ का किला भी है. जो अद्भुत और अकल्पनीय है. वहीं तुतल भवानी का मंदिर और उसके पास बहता झरना जहां पानी 200 फीट की ऊंचाई से नीचे गिरता है आपको अपनी ओर खींच लेगा. 
 

 

Trending news