रेलवे ने महिलाओं के लिए यह मानदंड 58 वर्ष और पुरुषों के लिए 60 वर्ष रखा था. रेलवे बुजुर्गों के लिए सब्सिडी बरकरार रखते हुए ये रियायतें रेलवे को दे रहा है. इन रियायतों से बुजुर्गों को मदद मिलती है लिहाजा इसे पूरी तरह से खारिज नहीं किया जा रहा है.
Trending Photos
पटनाः Indian Railways: भारतीय रेलवे से वरिष्ठ नागरिकों को मिलने वाली रियायतों को बहाल करने पर विचार कर रहा है. बता दें कि आने वाले दिनों में अब 70 साल से ऊपर के लोगों के लिए रियायती किराया बढ़ाकर उम्र मानदंड में बदलाव होने की संभावना है. हालांकि, यह रियायत केवल सामान्य और स्लीपर क्लास पर ही दी जा सकती है.
रेलवे की रियायत से बुजुर्गों को मिलेगी मदद
रेलवे ने महिलाओं के लिए यह मानदंड 58 वर्ष और पुरुषों के लिए 60 वर्ष रखा था. रेलवे बुजुर्गों के लिए सब्सिडी बरकरार रखते हुए ये रियायतें रेलवे को दे रहा है. इन रियायतों से बुजुर्गों को मदद मिलती है लिहाजा इसे पूरी तरह से खारिज नहीं किया जा रहा है. इसकी समीक्षा की जा रही है और इस पर फैसला लिया जाएगा. रेलवे बोर्ड वरिष्ठ नागरिकों के लिए आयु में छूट देने पर विचार कर रहा है और 70 वर्ष से अधिक आयु वालों के लिए आयु मानदंड का विस्तार करेगा.
कोरोना काल में ये मिली थी रियायत
बता दें कि रेलवे ने महामारी से पहले, रेलवे बोर्ड ने वरिष्ठ नागरिक रियायतों को 58 वर्ष और उससे अधिक आयु की महिलाओं और 60 वर्ष और उससे अधिक आयु के पुरुषों के लिए बढ़ा दिया था. इसके अलावा महिलाएं 50 प्रतिशत रियायत के लिए पात्र थीं, पुरुष और ट्रांसजेंडर सभी वर्गों (सामान्य, स्लीपर और एसी) में 40 प्रतिशत छूट का लाभ उठा सकते थे. रेलवे रियायतों को केवल गैर-एसी यात्रा तक सीमित करना चाहता है. रेलवे का तर्क है कि अगर यह स्लीपर और सामान्य श्रेणी तक सीमित है तो 70 फीसदी यात्रियों को कवर किया जाएगा.
योजना पर सरकार कर रहा विचार
बता दें कि रेलवे योजना पर विचार कर रहा है. इससे अधिक राजस्व उत्पन्न करने में मदद मिलेगी, जिससे बुजुर्गों को दी जाने वाली रियायतों का बोझ कम होगा. यह योजना करीब 80 ट्रेनों में लागू है. प्रीमियम तत्काल योजना अतिरिक्त मूल्य के साथ कुछ सीटें आरक्षित करती है. प्रीमियम तत्काल किराए में मूल ट्रेन किराया और अतिरिक्त तत्काल शुल्क शामिल हैं.
ये भी पढ़िए- SSC Recruitment 2022: सीएपीएफ में इन पदों पर निकली भर्ती, युवा ऐसे करें आवेदन