Family ID बनी जन समस्या, महिलाओं ने CM के नाम SDM को सौंपा ज्ञापन
Haryana News: हरियाणा सरकार द्वारा सभी सरकारी योजनाओं को परिवार पहचान पत्र से जोड़ देने के बाद हाल ही में राज्यभर के सालाना 1.80 लाख रुपये से अधिक आय वाले हजारों परिवारों के बीपीएल कार्ड रद्द कर दिए गए हैं. जिसको लेकर समाजसेवियों के नेतृत्व में पानीपत शहर की सैकड़ों महिलाओं के साथ मिलकर जोरदार प्रदर्शन कर मुख्यमंत्री के नाम एसडीएम को ज्ञापन सौंपा है.
राकेश भयाना/ पानीपत: हरियाणा में जनता के लिए सबसे बड़ी समस्या फैमिली आईडी (Family ID) बन चुकी है. जिसको लेकर समाजसेवियों के नेतृत्व में पानीपत शहर की सैकड़ों महिलाओं के साथ मिलकर जोरदार प्रदर्शन कर मुख्यमंत्री के नाम एसडीएम को ज्ञापन सौंपा है.
दरअसल, हरियाणा सरकार द्वारा सभी सरकारी योजनाओं को परिवार पहचान पत्र (PPP) से जोड़ देने के बाद हाल ही में राज्यभर के सालाना 1.80 लाख रुपये से अधिक आय वाले हजारों परिवारों के बीपीएल कार्ड (BPL Card) रद्द कर दिए गए हैं. इसी को लेकर ये प्रदर्शन किया जा रहा है.
समाजसेवी जोगिंदर स्वामी ने कहा कि आज शहर के सैकड़ों परिवार इस फैमिली आईडी को लेकर दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं. फैमिली आईडी में लोगों की इनकम इतनी दिखा दी कि अब उनको राशन मिलना भी बंद हो गया है. उन्होंने प्रदर्शन के माध्यम से सरकार से आग्रह किया है कि फैमिली आईडी में जो इनकम 1 लाख 80 हजार की है उसे बढ़ाकर ढाई लाख रुपए की जाए. गरीब परिवारों के ऊपर अत्याचार करना बंद करें.
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समाजसेवी ने यह भी कहा कि जिन परिवारों के राशन कार्ड बंद हुए हैं उन्हें दोबारा से चालू किया जाए और इस समस्या का जल्द से जल्द समाधान किया जाए. वही प्रदर्शन में शामिल हुई महिलाओं ने कहा कि पिछले काफी दिनों से लघु सचिवालय में धक्के खा रहे हैं, लेकिन फिर भी उनकी समस्या का समाधान नहीं हो रहा और राशन कार्ड तक कट गया है. गरीब परिवारों को जो सरकार ने सुविधाएं देने का वादा किया था वह तो एक सपना साबित हुआ. अब कैसे अपने परिवार को पालेंगे और कैसे घर का गुजारा चलेगा.
फैमिली आईडी की गलतियों को ठीक करवाने और राशन कार्ड में नाम जुड़वाने के लिए लोग को दफ्तरों के चक्कर काटने पड़ रहे हैं, लंबी लाइनों में खड़ा होना पड़ रहा हैं. बरहाल फैमिली आईडी में गलत इनकम दर्ज करने के मामले बड़ी संख्या में सामने आ रहे हैं, जिसके चलते लोग कहीं न कहीं सरकार से नाखुश नजर आ रहे हैं. अब देखना होगा कि सरकार इस समस्या का कब तक हल निकालती है.