Eminent personalities to take part in Ganga Aarti at Maha kumbh: महाकुंभ इस साल 29 जनवरी 2025 को लगने जा रहा है. प्रयाग में लगने जा रहे महाकुंभ में पहली बार ऐसा कुछ होने वाला है, जो अभी तक नहीं हुआ है. जानें पूरा मामला.
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Kumbh Mela 2025: उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार देश-विदेश से आने वाले श्रद्धालुओं को महाकुंभ की नव्यता, दिव्यता और भव्यता का अहसास कराने की तैयारी में जुटी है. वहीं दुनिया के विशिष्ट लोग भी महाकुंभ में सम्मिलित होने और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात करने के लिए लालायित हैं. महाकुंभ के दौरान पहली बार इजरायल, अमेरिका और फ्रांस समेत तमाम देशों के दिग्गज गंगा आरती में शामिल होने की तैयारी कर रहे हैं. उनके साथ सेना के जवान भी शामिल होंगे.
प्रयागराज में वर्ष 1997 में गंगा आरती की शुरुआत हुई
हरिहर गंगा आरती समिति रामघाट प्रयागराज के अध्यक्ष सुरेश चंद्रा ने बताया कि काशी के तर्ज पर प्रयागराज में वर्ष 1997 में गंगा आरती की शुरुआत की गई. जिसके बाद से लेकर आज तक यह क्रम अनवरत जारी है. इसी के तहत, महाकुंभ के दौरान सीएम योगी के साथ ही देश के कोने-कोने से आ रहे विशिष्ट संतों का सम्मान करने की योजना बनाई गई है. भारत के सभी प्रमुख तीर्थ स्थलों के संतों का एक साथ महाकुंभ के महा आयोजन में शामिल होना अविस्मरणीय होगा.
सेना के जवान भी होंगे शामिल
भारत के सबसे बड़े राज्य के मुखिया योगी आदित्यनाथ के प्रति विश्व के ताकतवर देशों के लोगों में क्रेज लगातार बढ़ रहा है. इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि भारत के जवानों के साथ इजरायल, अमेरिका, फ्रांस, वियतनाम, इटली, कनाडा और म्यांमार के नामी लोग मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिलने भारत आ रहे हैं. उन्होंने बताया कि ये सभी विदेशी मेहमान यहां की प्रसिद्ध गंगा आरती में शामिल होंगे. उनके साथ भारतीय सेना के बड़े अधिकारी भी रहेंगे. ये सभी हरिहर गंगा आरती समिति के मेहमान होंगे.
एक लाख ग्यारह हजार पौधे लगाने का भी प्लान
महाकुंभ के दौरान अयोध्या के प्रसिद्ध साधु संत महाकुंभ को यादगार बनाने के लिए पौधरोपण भी करेंगे. राम वैदेही मंदिर के प्रमुख संत स्वामी दिलीप दास त्यागी ने बताया कि अयोध्या के संतों ने पर्यावरण को स्वच्छ रखने के लिए एक लाख ग्यारह हजार पौधे लगाने का संकल्प लिया है, जिसे महाकुंभ के दौरान अंतिम रूप दिया जाएगा. स्वामी दिलीप दास जी के साथ अयोध्या के कई और भी प्रमुख संत महाकुंभ को अविस्मरणीय बनाने की तैयारी में हैं.