भोपाल गैस त्रासदी के 40 साल बाद जहरीले कचरे की शिफ्टिंग शुरू, जानिए कहां लगाया जाएगा ठिकाने
Advertisement
trendingNow1/india/madhya-pradesh-chhattisgarh/madhyapradesh2580042

भोपाल गैस त्रासदी के 40 साल बाद जहरीले कचरे की शिफ्टिंग शुरू, जानिए कहां लगाया जाएगा ठिकाने

Bhopal Gas Tragedy: भोपाल गैस त्रासदी के 40 साल बाद यूनियन कार्बाइड फेक्ट्री से जहरीला कचरा हटाने का काम शुरू कर दिया गया है. कचरे को जंबू बैग में पैक किया जा रहा है. इसे  हैडार्डस वेस्ट कंटेनर में भरकर पीथमपुर ले जाया जाएगा. 

 

भोपाल गैस त्रासदी के 40 साल बाद जहरीले कचरे की शिफ्टिंग शुरू, जानिए कहां लगाया जाएगा ठिकाने

Bhopal Gas Tragedy: भोपाल गैस त्रासदी के 40 साल बाद जहरीले कचरे को हटाने की तैयारी शुरू कर दी गई है. गैस त्रासदी के करीब 40 साल बाद यूनियन कार्बाइड फैक्ट्री से 337 टन जहरीला कचरा हटाया जा रहा है. यह कचरा राजधानी भोपाल से पीथमपुर में ले जाकर जलाया जाएगा. कचरे को ले जाने के लिए ग्रीन कॉरिडोर बनाया जाएगा. सभी कचरे को 12 हैडार्डस वेस्ट कंटेनर से पीथमपुर ले जाया जाएगा.

दरअसल, कोर्ट में सुनवाई के बाद आए निर्णय के बाद से यूनियन कार्बाइड फैक्ट्री से कचरा हटाने की तैयारी की जा रही थी. इसको लेकर बीच में विवाद की भी स्थिति बनी हुई थी. लेकिन हाई कोर्ट के आदेश के बाद इसे निस्तारण के लिए पीथमपुर ले जाने की तैयारी पूरी हो गई है. इस बीच आज से पुलिस की निगरानी में यह कार्य शुरू हो गया. यह पूरा कचरा पीथमपुर की एक औद्योगिक अपशिष्ट निपटान इकाई में नष्ट किया जाएगा. 

वैज्ञानिक तरीके से की जाएगी मॉनिटरिंग

राजधानी भोपाल से कचरा हटाने की तैयारी शनिवार से ही शुरू हो गई. यूनियन कार्बाइड फैक्ट्री का कचरा यूनिक नंबर वाले कंटेनर्स में पीथमपुर जाएगा. इसके लिए करीब 12 कंटेनर पहुंच गए हैं. कचरे की वैज्ञानिक तरीके से मॉनीटरिंग की जाएगी. कचरे को जलाने में 150 दिन से अधिक समय लगेगा. 250 किलोमीटर लंबाई का भोपाल से पीथमपुर तक ग्रीन कॉरिडोर बनाया जाएगा. विशेषज्ञों की निगरानी में जहरीले कचरे की पैकिंग शुरू हो गई है. बताया जा रहा है कि कचरे की पैकिंग में 24 से 48 घंटे लगेंगे.

जानिए कैसे हो रही पैकिंग

बता दें कि  यूनियन कार्बाइड फैक्ट्री में मौजूद 337 टन कटरे को खास जंबू बैग में पैक किया जा रहा है. यह बैग एचडीपीई नॉन रिएक्टिव लाइनर के बने हैं. इस बैग में मटैरियल में कोई रिएक्शन नहीं हो सकता. बैग में कचरा भरने के लिए 50 से अधिक लेबर लगाए गए हैं. सभी लेबर पीपीई किट पहने हैं. ताकि कैमिकल के संपर्क में आने पर शरीर को नुकसान न हो.

सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम

यूनियन कार्बाइड फैक्ट्री में सुरक्षा के खास इंतजाम किए गए हैं. 100 से अधिक पुलिस जवान सुरक्षा में तैनात हैं. इसको लेकर 3 थाने छोला, गौतम नगर व निशातपुरा को अलर्ट पर रखा गया है.  250 अफसर-कर्मचारी व डॉक्टरों की टीम मौजूद है. ड्यूटी में मौजूद सभी सरकारी कर्मचारियों के लिए आईडी जरूरी है.

ग्रीन कॉरिडोर बनाकर ले जाया जाएगा कचरा

कचरे को जंबू बैग में भरकर हैडार्डस वेस्ट कंटेनर में रखा जाएगा. फैक्ट्री में 12 हैडार्डस वेस्ट कंटेनर पहुंच गए हैं. यह वो कंटेनर हैं जिसमें अगर आग भी लगे तो कंटेनर व मटेरियल को नुकसान नहीं होगा. कचरे भरने के बाद इन सभी कंटेरनों को ग्रीन कॉरिडोर बनाकर पीथमपुर ले जाया जाएगा. जहां सभी कचरे को नष्ट किया जाएगा.

रिपोर्ट- अनिल नागर, भोपाल

मध्य प्रदेश नवीनतम अपडेट्स के लिए ज़ी न्यूज़ से जुड़े रहें! यहाँ पढ़ें  MP News और पाएं MP Breaking News in Hindi हर पल की जानकारी । मध्य प्रदेश  की हर ख़बर सबसे पहले आपके पास, क्योंकि हम रखते हैं आपको हर पल के लिए तैयार। जुड़े रहें हमारे साथ और बने रहें अपडेटेड!

Trending news