कांग्रेस ने पूर्व विधायक बृहस्पति सिंह और डॉ. विनय जायसवाल को बाहर का रास्ता दिखा दिया और दोनों पूर्व विधायकों को 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया.
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CG News: रायपुर से बड़ी खबर सामने आई है. कांग्रेस ने पूर्व विधायक बृहस्पत सिंह और डॉ. विनय जायसवाल को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया है. दोनों पूर्व विधायकों को 6 साल के लिए निष्कासित किया गया है. बता दें कि कांग्रेस के पूर्व विधायक बृहस्पत सिंह और डॉ. विनय जयसवाल पर पार्टी के खिलाफ बयानबाजी करने का आरोप लगा है. दोनों को नोटिस जारी करने के बाद पार्टी ने कार्रवाई की है.
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गौरतलब है कि दोनों पूर्व विधायकों ने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं पर गंभीर आरोप लगाए थे. बृहस्पत सिंह ने प्रदेश प्रभारी शैलजा पर गंभीर आरोप लगाते हुए टिकट बेचने का आरोप लगाया. जबकि, विनय ने सह प्रभारी चंदन यादव पर सात लाख रुपये भुगतान के बावजूद टिकट रोकने का आरोप लगाया था.
बृहस्पत सिंह ने अपनी पार्टी के नेताओं पर टिप्पणी की
विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी की करारी हार पर पूर्व विधायक बृहस्पत सिंह ने बड़ा बयान दिया था. सिंह ने एआईसीसी से कांग्रेस प्रभारी शैलजा को बर्खास्त करने की मांग की थी. साथ ही टीएस सिंहदेव पर टिप्पणी करते हुए यह कहा था कि यदि टीएस सिंहदेव मुख्यमंत्री होते तो कांग्रेस को 14 सीटें भी नहीं मिलतीं. सिंह ने कहा था कि बीजेपी को टीएस बाबा को राज्यपाल नियुक्त कर देना चाहिए.
वहीं, मनेंद्रगढ़ के पूर्व विधायक डॉ. विनय जायसवाल ने आरोप लगाया था कि प्रदेश प्रभारी सचिव चंदन यादव ने 7 लाख रुपये लिए हैं. जायसवाल ने कहा था कि अगर पार्टी फंड के लिए पैसा लिया जाता है तो यह स्वीकार्य है, लेकिन इसे व्यक्तिगत उपयोग के लिए लेना बेहद आपत्तिजनक है. उन्होंने टिकट आवंटन के मानदंडों पर सवाल उठाया था. उन्होंने कहा था कि मुझे इस बात का दुख नहीं है कि पार्टी ने मेरा टिकट काट दिया. पार्टी ने जिसे उम्मीदवार बनाया वह भी हार गया. मेरा सवाल यह है कि जो हार गया उसे टिकट देने का मापदंड क्या था, मुझे यह जानने का अधिकार है?