छत्तीसगढ़ के पर्यटन स्थलों की बढ़ रही पहचान, तीन साल में ढाई करोड़ से अधिक लोग आए
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छत्तीसगढ़ के पर्यटन स्थलों की बढ़ रही पहचान, तीन साल में ढाई करोड़ से अधिक लोग आए

छत्तीसगढ़ की खूबसूरती न सिर्फ देश के पर्यटकों को भा रही है, अपितु सात-समंदर पार विदेशी पर्यटकों को भी अपनी ओर खींच ला रही है. 

छत्तीसगढ़ के पर्यटन स्थलों की बढ़ रही पहचान, तीन साल में ढाई करोड़ से अधिक लोग आए

रायपुर: छत्तीसगढ़ की खूबसूरती न सिर्फ देश के पर्यटकों को भा रही है, अपितु सात-समंदर पार विदेशी पर्यटकों को भी अपनी ओर खींच ला रही है. ऐतिहासिक, धार्मिक, सांस्कृतिक और पुरातात्विक धरोहरों के साथ प्राकृतिक विविधताओं से परिपूर्ण छत्तीसगढ़ का पर्यटन देश में अपनी पहचान स्थापित करता जा रहा है. यहां की खूबसूरती को करीब से निहारने के लिए पर्यटकों का लगातार छत्तीसगढ़ आना हो रहा है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और पर्यटन मंत्री ताम्रध्वज साहू के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ के पर्यटन को लगातार बढ़ावा देने के परिणामस्वरूप  पर्यटन के नक्शे पर छत्तीसगढ़ उभर रहा है. राज्य में आने वाले पर्यटकों की संख्या को देखे तो विगत 3 साल में यहां ढ़ाई करोड़ से अधिक पर्यटक आए. घरेलू पर्यटकों के अलावा 9145 विदेशी पर्यटकों ने भी छत्तीसगढ़ की खूबसूरती देखी.

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भारत के हृदय स्थल में स्थित छत्तीसगढ़ प्राचीन स्मारकों, बौद्ध स्थलों, दुर्लभ वन्य प्राणियों, नक्काशीदार मंदिरों, राजमहलों, गुफाओं एवं शैलचित्रों से भी परिपूर्ण है. उत्तर से लेकर दक्षिण तक हरे-भरे जंगल, जलप्रपात, झरने, विह्ंगम जलाशय सहित प्रकृति की नैसर्गिक सुंदरता को करीब से निहारने और यहां की संस्कृति, ऐतिहासिक धरोहरों को समझने के साथ आदिवासी समाज के जनजीवन को जानने और उनकी कलाकृतियों को देखने का भरपूर आनंद पर्यटक उठाते हैं. लखनऊ के कृपाशंकर यादव को छत्तीसगढ़ का पर्यटन स्थल अन्य स्थानों से कुछ अलग ही महसूस कराता है. यादव बताते है कि सिरपुर में बुद्ध की ऐतिहासिक प्राचीन धरोहरों को देखकर मन अभिभूत हो उठता है. उनका कहना है कि सिरपुर दुनिया का बड़ा बौद्ध विरासत है, इसका संवर्धन और संरक्षण आवश्यक है. ऐसे महत्वपूर्ण स्थलों में सुविधाएं और बढ़ेंगी तो अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान बढ़ेगी. उन्होंने बताया कि गुरू घासीदास की जन्म स्थली गिरौदपुरीधाम और बस्तर क्षेत्र में मौजूद प्राकृतिक पर्यटन स्थल बहुत आकर्षित करते हैं.

अक्टूबर से मार्च का मौसम पर्यटकों को खींच लाता है पर्यटन स्थल तक
राज्य में सरगुजा से लेकर बस्तर तक पर्यटन स्थल है. इन पर्यटन स्थलों पर वैसे तो हर माह पर्यटकों का आना जाना लगा होता है. लेकिन पर्यटन विभाग के आंकड़े देखे तो स्पष्ट होता है कि अक्टूबर से लेकर मार्च के मौसम में पर्यटकों के आने का सिलसिला कभी-कभी 10 लाख से भी ऊपर पहुंच जाता है. 

 2 करोड़ 54 लाख पर्यटक आए
2019 से 2021 के बीच पर्यटकों की संख्या देखे तो कुल 2 करोड़ 54 लाख  11 हजार 440 घरेलू और 9145 विदेशी पर्यटकों का आगमन हुआ. साल 2019 में कुल 131 पर्यटन स्थलों में 1 करोड़ 73 लाख घरेलू और 6817 विदेशी पर्यटक छत्तीसगढ़ आये. इसमें जनवरी माह में 2 लाख 35 हजार से अधिक, फरवरी माह में 1 लाख 67 हजार से अधिक और मार्च में 1 लाख 33 हजार से अधिक पर्यटक आए. अप्रैल में 1 लाख 28 हजार, मई में 1 लाख 31 हजार, जून में 1 लाख 27 हजार, जुलाई में 1 लाख 34 हजार, अगस्त में 1 लाख 42 हजार, सितम्बर में 1 लाख 34 हजार, अक्टूबर में लगभग 2 लाख, नवंबर में 6 लाख 66 हजार और दिसम्बर में 1 लाख 27 हजार से अधिक पर्यटक आए. वर्ष 2020 में छत्तीसगढ़ के कुल 152 पर्यटन स्थलों में 35 लाख 772 घरेलू और 2322 विदेशी पर्यटक आए.  इसमें से जनवरी माह में 8 लाख 32 हजार, फरवरी माह में 9 लाख 26 हजार से अधिक, मार्च में 10 लाख 45 हजार से अधिक पर्यटक आये. 2020 में ही अक्टूबर में 1 लाख 33 हजार, नवंबर में 1 लाख 66 हजार और दिसम्बर माह में लगभग 2 लाख पर्यटकों ने छत्तीसगढ़ के पर्यटन स्थलों को देखा. कोरोना संक्रमण की वजह से मार्च 2020 से अन्य महीनों में लॉकडाउन की वजह से पर्यटकों का आना जाना कम रहा.

इस साल 2021 में जनवरी से लेकर अक्टूबर माह तक कुल 152 पर्यटन स्थलों में 46 लाख घरेलू और 6 विदेशी पर्यटक छत्तीसगढ़ आये. इसमें जनवरी माह में 6 लाख 63 हजार से अधिक, फरवरी माह में 5 लाख 41 हजार से अधिक और मार्च में 10 लाख 67 हजार से अधिक पर्यटक आए. जून में 88 हजार, जुलाई में 3 लाख 20 हजार, अगस्त में 4 लाख 98 हजार, सितम्बर में 4 लाख 59 हजार, अक्टूबर में 96 हजार से अधिक पर्यटक आए. बीते दो साल में कोरोना की वजह से पर्यटन पर असर हुआ है, हालांकि सब कुछ सामान्य होने के साथ लोग मौसम के अनुसार छत्तीसगढ़ के पर्यटन स्थलों में घूमने-फिरने का अपना मन एक बार फिर से बनाने लगे हैं. छत्तीसगढ़ पर्यटन मण्डल द्वारा पर्यटकों की सुविधा के लिए अनेक पर्यटन इकाइयां संचालित की गई है. छत्तीसगढ़ के पर्यटन स्थलों के बारे में पर्यटकों को सुलभ जानकारी उपलब्घ कराने तथा पर्यटन स्थलों के भ्रमण के लिए व्यक्तिगत एवं टूर पैकेज के अन्तर्गत आरक्षण की सुविधा प्रदान करने के लिए छत्तीसगढ़ पर्यटन मण्डल द्वारा नई दिल्ली सहित प्रदेश में तेरह स्थानों पर पर्यटन सूचना केन्द्र स्थापित किया गया है. छत्तीसगढ़ के पर्यटन स्थलों के बारे में अधिक जानकारी तथा पैकेज टूर एवं रिसॉर्ट बुकिंग के लिए कॉल सेन्टर (टोल फ्री नम्बर) 1800-102-6415 पर संपर्क किया जा सकता है.

छत्तीसगढ़ में पर्यटन स्थल के रूप में प्रसिद्ध महत्वपूर्ण स्थल
छत्तीसगढ़ में प्राकृतिक, धार्मिक, ऐतिहासिक पर्यटन स्थल अपनी पहचान स्थापित कर लगातार पर्यटकों को अपनी ओर खींच रहे हैं. राज्य में बाहर से आने वाले पर्यटकों को सर्वाधिक पसंद आने वाले स्थानों में अचानकमार टाइगर रिजर्व, बारनवापारा वन्य जीव अभ्यारण, पामेड़ अभ्यारण, गोमर्डा, बादलखोल, भोरमदेव, भैरमगढ़, तमोरपिंगला अभ्यारण, सेमरसोत वन्यजीव अभ्यारण, सीतानदी अभ्यारण, भोरमदेव मंदिर, दंतेश्वरी मंदिर, प्रज्ञागिरी मंदिर, लक्ष्मण मंदिर, वारसूर गणेश प्रतिमा, चम्पारण्य, चित्रकोट जल प्रपात, तीरथगढ़ जलप्रपात, देवपहरी जलप्रपात, अमृत धारा, राजपुरी, रानीदाह, टाइगर पॉइंट, केंदाई, देवधारा, सातधारा जलप्रपात, मैनपाट, कुतुंब मीनार से उंचा जैतखाम एवं गुरू घासीदास की जन्म स्थली गिरौधपुरी धाम, बौद्ध तीर्थ स्थल सिरपुर, रतनपुर, ताला, मल्हार, पाली, लाफा, तुम्हान,बस्तर, डोंगरगढ़, राजिम, बांगो बांध, सतरेंगा जलाशय, खूटाघाट, मदकूद्वीप, चैतुरगढ़, दामाखेड़ा, कुदुरमाल, गंगरेल बांध, कांगेर वैली राष्ट्रीय उद्यान, गुरू घासीदास राष्ट्रीय उद्यान, शबरी का मंदिर शिवरीनारायण, रामवनगमन पर्यटन परिपथ, रायपुर सिटी, जंगल सफारी, कुटुमसर गुफा, कैलाश गुफा, जोगी मारा, रामगढ़, अरण्य, सिंघनपुर गुफा सहित अनेक महत्वपूर्ण पर्यटन स्थल है.

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