नीति आयोग ने जारी किया हेल्थ इंडेक्स, जानिए MP में कैसा है स्वास्थ्य सुविधाओं का हाल!
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नीति आयोग ने जारी किया हेल्थ इंडेक्स, जानिए MP में कैसा है स्वास्थ्य सुविधाओं का हाल!

पिछले साल के मुकाबले तेलंगाना की रैंकिंग में एक स्थान का उछाल आया है और पिछले साल के चौथे स्थान मुकाबले इस साल तेलंगाना को तीसरा स्थान मिला है.

नीति आयोग ने जारी किया हेल्थ इंडेक्स, जानिए MP में कैसा है स्वास्थ्य सुविधाओं का हाल!

प्रमोद शर्मा/भोपालः नीति आयोग ने हेल्थ इंडेक्स जारी किया है. इस हेल्थ इंडेक्स के अनुसार, मध्य प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधाएं अच्छी स्थिति में नहीं हैं. बता दें कि हेल्थ इंडेक्स में बड़े राज्यों की सूची में मध्य प्रदेश को 19 राज्यों में से 17वें स्थान पर रखा गया है. एमपी से नीचे सिर्फ यूपी और बिहार का नंबर है. गौरतलब है कि इस सूची में मध्य प्रदेश की रैंकिंग में पिछले साल के मुकाबले कोई सुधान नहीं हुआ है.  

रिपोर्ट के अनुसार, मध्य प्रदेश में हेल्थ सेक्टर पैरामेडिकल स्टाफ की कमी से जूझ रहा है. वहीं हेल्थ इंडेक्स में लगातार चौथे साल केरल को पहला स्थान मिला है. रिपोर्ट के अनुसार, तमिलनाडु दूसरे, तेलंगाना तीसरे, आंध्र प्रदेश चौथे, महाराष्ट्र पांचवें स्थान पर है. रिपोर्ट से साफ है कि हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर के मामले में दक्षिण भारत के राज्य अन्य राज्यों के मुकाबले काफी आगे हैं. इस रिपोर्ट में बिहार की रैंकिंग सबसे खराब है और उसे सबसे नीचे 19वें स्थान पर रखा गया है. 

पिछले साल के मुकाबले तेलंगाना की रैंकिंग में एक स्थान का उछाल आया है और पिछले साल के चौथे स्थान मुकाबले इस साल तेलंगाना को तीसरा स्थान मिला है. वहीं वहीं नौवें नंबर से आठवें नंबर पर, गुजरात सातवें से छठे नंबर पर और असम 15वें से 12वें स्थान पर आ गया है. 

हालांकि यहां अच्छी बात ये है कि उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश उन राज्यों में शामिल हैं, जिनमें हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर में सुधार दिखाई दे रहा है. रिपोर्ट के अनुसार, उत्तर प्रदेश ने हेल्थ सेक्टर में सुधार के लिए सबसे ज्यादा प्रगति की है, वहीं इस मामले में मध्य प्रदेश भी छठे स्थान पर है.  

क्या बोले मंत्री
वहीं नीति आयोग के हेल्थ इंडेक्स में मध्य प्रदेश के पिछड़ने पर राज्य के चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सांरग ने कहा कि जिन पैरामीटर पर मध्य प्रदेश पिछड़ा है, उन बिंदुओं पर काम किया जाएगा. विश्वास सारंग ने इस पिछड़ेपन के लिए पूर्व की सरकारों को जिम्मेदार ठहरा दिया. उन्होंने कहा कि दिग्विजय और कमलनाथ सरकार ने हेल्थ के क्षेत्र में काम  नहीं किया और हेल्थ का ढांचा खराब करने का काम किया. हमारी सरकार बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने का काम लगातार कर रही है. 

मंत्री ने कहा कि कोरोना संकट के बीच में लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने का काम सरकार ने किया है. नीति आयोग की रिपोर्ट हमें और बेहतर करने की दिशा देती है. चिकित्सा शिक्षा मंत्री ने कहा कि आगामी नीति आयोग की जो रिपोर्ट आएगी, उसकी रैंकिंग में हम यकीनन सुधार कर लेंगे. 

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